पेट का कैंसर महिलाओं की तुलना में पुरूषों में अधिक होता है. आजकल पेट के कैंसर के मरीज़ों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है. आमतौर पर शुरूआत में पेट का कैंसर लक्षणहीन होता है और इसका पता भी आखरी स्टेज में ही चलता है. पेट का कैंसर, पेट के अंदर असामान्य कोशिकाओं की होने वाली अनियंत्रित वृद्घि को ही कहते हैं. समय से पहले किसी भी बिमारी में थोड़ी सी सावधानी बरतकर आप उसे बढ़ने से रोक सकते हैं. आइए जानते हैं पेट के कैंसर के कुछ खास कारणों, लक्षणों और उपायों के बारे में..
कारण एवं लक्षण:
पेट के कैंसर की संभावना आमतौर पर धूम्रपान और मादक पदार्थों का सेवन करने वालों में ज्यादा होती है. इसके अलावा वो लोग जो अत्यधिक मसालेदार भोजन करते हैं, उनमें भी पेट के कैंसर होने का खतरा बढ़ जाता है. पेट के कैंसर के कुछ कारणों में कोई पुराना विकार जैसे गैस्ट्राइटिस की समस्या लंबे समय तक होना, कभी पेट की किसी भी तरह कोई सर्जरी होना भी हो सकता है.
कई बार आनुवांशिक कारणों से भी पेट का कैंसर होता है. पेट का कैंसर बहुत खतरनाक साबित होता है क्योंकि जब तक पेट का कैंसर बहुत अधिक बढ़ नहीं जाता, तब तक इसके लक्षणों का पता लगाना मुश्किल होता है. सामान्यत: पेट के कैंसर को मलाशय कैंसर के रूप में जाना जाता है. अन्य सभी कैंसर बिमारियों की तरह पेट के कैंसर में भी मृत्यु का जोखिम ज्यादा होता है. पेट का कैंसर बड़ी आंत का कैसर भी है जो पाचन तंत्र के सबसे निचले हिस्से में होता है. यह वो जगह है जहां भोजन से शरीर के लिए ऊर्जा पैदा की जाती है. साथ ही यह शरीर के ठोस अवशिष्ट पदार्थों को भी पचाता है.
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