‘‘काव्या,कल जो लैटर्स तुम्हें ड्राफ्टिंग के लिए दिए थे, वे हो गया क्या?’’ औफिस सुपरिंटेंडैंट नमनजी की आवाज सुन कर मोबाइल पर चैट करती काव्या की उंगलियां थम गईं.