हम खाना अपने शरीर की जरूरतों को पूरा करने के लिए ही नहीं खाते, बल्कि अपने स्वाद के लिए ज्यादा खाते हैं. इस चक्कर में हम पौष्टिक भोजन कम खाते हैं और जिन चीजों में न्यूट्रिऐंट्स कम और सिर्फ  टेस्ट ही होता है उन्हें खाने में हमारी ज्यादा दिलचस्पी होती है. आइए जानते हैं इस बारे में न्यूट्रिशनिस्ट प्रीति त्यागी से:

क्या है हैल्दी डाइट

हैल्दी डाइट से मतलब ऐसी डाइट से है, जिस में प्रोटीन, विटामिन, मिनरल, आयरन, कैल्सियम, कार्बोहाइड्रेट्स, फैट्स सभी पौष्टिक तत्व शामिल हो. क्योंकि अगर खाने में प्रोटीन का अभाव होगा तो हमें ऊर्जा नहीं मिल पाएगी, साथ ही जल्दीजल्दी संक्रमित होने के चांसेस भी रहते हैं. वहीं कैल्सियम मसल्स के फंक्शन के लिए तो जरूरी होता ही है साथ ही यह मेटाबोलिज्म के लिए भी सहायक होता है. वहीं कार्बोहाइड्रेट्स व फैट्स ऊर्जा प्रदान करने के साथसाथ हैल्दी सैल्स के निर्माण का कार्य करते हैं.

बता दें कि आयरन शरीर के लिए बहुत जरूरी होता है. यह पूरे शरीर में औक्सीजन को पहुंचाने का काम करता है.

वर्ल्ड हैल्थ आर्गेनाईजेशन के अनुसार, छोटी उम्र से ही क्रोनिक डिजीज जैसे डायबिटीज और उच्च रक्तचाप की शिकायत होने की एक मुख्य वजह अनहैल्थी ईटिंग हैबिट्स को अपनाना होता है.

आइए, जानते हैं कि कैसे अपने खानपान में सेहत को जोड़ा जा सकता है:

1. फास्ट नहीं आराम से खाएं

अगर हम किसी भी चीज को तुरंत बदलना चाहें तो नहीं बदल सकते, इस के लिए हमें धीरेधीरे अपनी पुरानी आदतों को बदलने की जरूरत होती है. बहुत से लोगों की यह आदत होती है कि उन के सामने खाना आया नहीं कि वे झट से खा लेते हैं. और इस बीच दोबारा भूख लगने पर दोबारा फरमाइश आ जाती है. ऐसा इसलिए होता है क्योंकि आप को कितना खाना खाना है और आप का पेट भरा है या नहीं यह सब हार्मोंस कंट्रोल करते हैं. ये हार्मोंस ब्रेन को सिग्नल देते हैं कि पेट खाली है या फुल. लेकिन जब ऐसा नहीं हो पाता तो ओवर ईटिंग होती है.

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अनेक शोधों में यह साबित हुआ है कि तेज स्पीड से खाना खाने वालों में मोटापे की समस्या देखी जाती है. इसलिए भले ही आप की डाइट हैल्दी हो लेकिन आप को अपनी इस आदत को बदलना होगा, तभी आप के शरीर को सभी न्यूट्रिऐंट्स का फायदा मिल पाएगा.

2. टीकौफी की जगह हो जाए छाछ

यों तो ज्यादातर लोग चायकौफी को थकान दूर करने के लिए पीते हैं, मगर फिर हम इसे अपनी आदत में शामिल कर लेते हैं और फिर जब भी मन करता है तो यही पीना पसंद करते हैं. जबकि इस के अधिक सेवन से नींद में दिक्कत, जलन जैसी समस्याएं भी हो सकती हैं.

लेकिन अगर आप टी, कौफी की जगह छाछ का विकल्प चुनें, तो यह सिर्फ  हैल्दी औप्शन होता है बल्कि आप के शरीर की पानी की जरूरतों को भी पूरा करने का काम करता है. क्योंकि छाछ में 90% पानी जो होता है.

इस में प्रोटीन, फैट, कार्बोहाइड्रेट्स, कैल्सियम और विटामिंस आदि होते हैं जो शरीर की जरूरतों को पूरा करने के साथसाथ शरीर को ठंडक पहुंचाने का भी काम करते हैं. यहां तक कि यह लंबे समय तक टमी को भी फुल रखने का काम करते हैं, जिस से हम अनहैल्दी चीजों के सेवन से बचते हैं. आप को बता दें कि छाछ बौडी को डीटौक्स करने का भी काम करती है, जिस से शरीर से सारे विषैले तत्व बाहर निकल कर हमारी पाचन क्रिया सुचारु होती  है. छाछ में गुड बैक्टीरिया होते हैं जिस से हमारा इम्यून सिस्टम मजबूत बनता है. तो फिर दिन में

1-2 बार छाछ का सेवन जरूर करें.

3. ट्राई करें नई रैसिपीज

अगर हम खुद को व अपने परिवार को हैल्दी रखना चाहते हैं तो उन की अनहैल्दी ईटिंग हैबिट्स को हैल्दी ईटिंग हैबिट्स में बदलना होगा. और इस की शुरुआत आप कुछ अलग कर के कर सकती हैं. जैसे रोजरोज एक ही रैसिपी को बनाने से बेहतर होगा कि आप हफ्ते में 1-2 बार कुछ अलग हैल्दी रैसिपी बनाएं. जैसे अंडे का चीला, मिक्स वैज परांठा आदि. यकीन मानिए आप का ये आईडिया आप के परिवार को फिट रखने का काम करेगा.

4. फ्रूट जूस की जगह फ्रूट्स

कुछ लोगों को फू्रट्स खाने से ज्यादा फ्रूट जूस पीना अच्छा लगता है. भले ही वह घर में निकाला हुआ हो या फिर बाहर का हो. लेकिन यह ओप्शन हैल्दी नहीं है. क्योंकि जहां हम एक फ्रूट खा कर संतुष्ट हो जाते हैं वहीं जूस की फौर्म में हम उसी फू्रट को कई गुना ज्यादा लेते हैं. जूस पीने से फाइबर की मात्रा भी घटती है और शुगर इन्टेक भी ज्यादा होता है, क्योंकि वह तुरंत डाइजैस्ट जो हो जाता है.

जबकि फू्रट्स वाटर, फाइबर, विटामिंस और ऐंटीऔक्सीडैंट्स से भरपूर होते हैं. जो डायबिटीज, दिल की बीमारियों व कैंसर से बचाने का काम करते हैं. धीरेधीरे पचने के कारण ये ब्लड शुगर लेवल को भीबढ़ने नहीं देते हैं. इसलिए आप हैल्दीरहने के लिए अपनीडाइट में रोजाना एक फ्रूट को शामिल जरूर करें और फू्रट जूस पीने की हैबिट को धीरेधीरे छोड़ें.

5. साबुत अनाज है सेहत का राज

क्या आप जानते हैं कि साबुत अनाज में सेहत का राज छिपा होता है, क्योंकि इस में भरपूर मात्रा में विटामिन बी, विटामिन ई, मैग्निसियम, फाइबर, कार्बोहाइड्रेट्स जो होते हैं, जो सेहत के लिहाज से काफीजरूरीमाने जाते हैं.

कई शोधों में यह साबित हुआ है कि जो लोग साबुत अनाज, दालों व साबुत अनाज से बनीचीजों का सेवन करते हैं उन्हें  डायबिटीज, हार्ट प्रौब्लम्म, ब्लड प्रेशर कीशिकायत कम होतीहै. यहां तक कि साबुत अनाज वजन कम करने में भीसक्षम है, क्योंकि ये फाइबर से भरपूर जो होते हैं. यहां तक कि आंतों कीसूजन को भीकम करता है. इसलिए आप साबुत अनाज को अपनीडेलीडाइट में जरूर शामिल करें.

6. सब्जियों व दालों के बिना खाना अधूरा

वह खाना हीक्या जिस में दाल व सब्जियां न हों, क्योंकि इन से सिर्फ हमारीथालीकीरौनक बढ़तीहै, बल्कि इन में प्रोटीन, मैग्निसियम, आयरन, कैल्सियम, विटामिंस होते हैं. साथ हीइन में पानीकीमात्रा ज्यादा और कैलोरीज कम होने के कारण ये आप के शरीर कीजरूरतों को पूरा करने का काम करते हैं. ये उच्च रक्तचाप कीसमस्या से भीनजात दिलवाते हैं, क्योंकि इन में पोटैशियम कीमौजूदगीजो होतीहै, जो शरीर में नमक की मात्रा को संतुलित बनाने का काम करतीहै. साथ हीइन के सेवन से स्किन हैल्दीभीहोतीहै, क्योंकि जब शरीर अंदर से फिट होगा तभीतो बाहर से स्किन खिलीखिली नजर आएगी.

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7. सब्जियों का सूप

अकसर हमें बीचबीच में भूख लगतीरहतीहै ऐसे में हम अपनीभूख को शांत करने के लिए कभीचिप्स खा लेते हैं तो कभी बिस्कुट या फिर फ्राइड चीजें. ये सभी भले हीहमारीभूख को शांत कर दे, लेकिन इन से हमारे शरीर को कोई फायदा नहीं पहुंचता. लेकिन अगर आप अपनीभूख को शांत करने के लिए सब्जियों का सूप लें, जो विटामिन, कैल्सियम, पोटैशियम से युक्तहोने के कारण आप कीइम्युनिटीको बढ़ाने का काम करता है.

ड्राईफू्रट्स रखेंगे आप को तंदुरुस्त

अकसर हम यहीसोचते हैं कि अगर हम ड्राईफ्रूट्स खाएंगे तो मोटे हो जाएंगे, जबकि ऐसा नहीं है, क्योंकि ड्राईफू्रट्स आप को फुल, फिट रखने के साथसाथ इम्युनिटी बूस्टर का काम करते हैं. इसलिए रोज थोड़े से नट्स जरूर खाएं. इस से आप कीसोचनेसमझने कीशक्ति बढ़तीहै और आप बीमारियों से बचे रहते हैं. इस तरह आप खुद को व अपने परिवार को हैल्दी रख सकती हैं.

-पारुल भटनागर द्य

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