रेटिंगः दो स्टार
निर्देशकः नितिन कक्कड़
कलाकारः सैफ अली खान, अलाया एफ, तब्बू,कुबरा सैट और चंकी पांडे
अवधिः एक घंटा, 55 मिनट
कुछ वर्ष पहले हास्य फिल्म ‘‘फिल्मिस्तान’’ का निर्देशन कर शोहरत बटोर चुके फिल्मकार नितिन कक्कड़ इस बार लंदन में बसे भारतीय परिवारों की कहानी के माध्यम से पिता पुत्री की अनूठी कहानी लेकर आए हैं. इस फिल्म में फिल्मकार ने समाज में बदलते रिश्तों के पैमाने पर रोशनी डालने का प्रयास किया है. इस कहानी में अविवहित माता पिता की बेटी भी बिना शादी किए मां बनती है. अब इस कथा को भारत में पले बढ़े भारतीय दर्शक कितना पचा सकेंगे, यह कहना मुश्किल है, शायद इसी वजह से नितिन कक्कड़ ने लंदन में बसे भारतीय परिवारोंं की कहानी के रूप में पेश की है.
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कहानीः
यह कहानी है कमिटमेंट और जिम्मेदारियों से दूर भागने वाले ‘प्ले ब्वौय’ की तरह जिंदगी जीने वाले 40 वर्ष के जसविंदर सिंह उर्फ जैस (सैफ अली खान) की. जैस के लिए शादी, पत्नी, बाल-बच्चे आदि उसकी आजादी में सबसे बड़ा रोड़ा हैं. इसी वजह से वह अपने माता-पिता और भाई-भाभी से अलग अकेले किराए के मकान में रहते हैं. और हर दिन उनका ज्यादातर वक्त नृत्य व शराब की पार्टियों, क्लब में शराब पीकर नई नई लड़कियों के साथ रात गुजारने में जाता है. जैस अपने भाई डिंपी (कुमुद मिश्रा) के साथ मिलकर रीयल इस्टेट की दलाली 'ब्रोकर' का काम करते हैं. वह अपनी जिंदगी में हर तरह से मस्त हैं.
तभी एक दिन एक क्लब में जैस की मुलाकात एम्सर्टडम से आयी 21 वर्षीय टिया (अलाया फर्नीचर वाला) से होती है. दूसरी लड़कियों की तरह टिया के संग भी फ्लर्ट करने के इरादे से जैस, टिया को लेकर अपने घर पहुंचते हैंं. मगर घर पहुंचते ही जैस की उस वक्त सिट्टी-पिट्टी गुम हो जाती है, जब टिया बताती है कि वह उनकी बेटी है और वह भी बिना शादी किए अपने प्रेमी रोहण के बच्चे की मां बनने वाली है. जिम्मेदारी से भागने के लिए जैस, टिया से पीछा छुड़ाने की कोशिश करते हैं. टिया जैस का घर छोड़कर सामने वाले मकान में किराए पर रहना शुरू करती है. फिर धीरे धीरे पता चलता है कि जैस 22 साल पहले एम्स्र्टडम में टिया की मां (तब्बू) से मिले थे और पिता बनने की जिम्मेदारी से बचने के लिए उन्हे छोड़कर लंदन भाग आए थे. बहरहाल, कहानी आगे बढ़ती है और रिश्तों का नया पैमाना सामने आता है.