रेटिंगः दो स्टार
निर्माताः एम बी एन इंटरटेनमेंट पा्र. लिमिटेड के लिए बब्बन नेगी व मीना नेगी
निर्देशकः वरदराज स्वामी
कलाकारः विवान शाह,जोया अफरोज, अतुल श्रीवास्तव,अभिषेक बजाज, इमरान हासनी,भगवान तिवारी,यशश्री मसुरकर व शहजाद अहमद
अवधिः दो घंटे चैदह मिनट
ओटीटी प्लेटफार्मः एम एक्स प्लेअर पर, 17 मई से
लालच,जरुरत,ड्ग्स की लत व इमानदारी के साथ मुगलकालीन सोने के सिक्के की चोरी और रोमांस से युक्त अजीबो गरीब कहानी को अपनी फिल्म ‘‘कबाड़ द क्वाइन’’में लेकर फिल्म सर्जक वरदराज स्वामी आए हैं. जो कि कहीं से भी आकर्षित नहीं करती.
कहानीः
फिल्म की शुरूआत होती है म्यूजियम से मुगल जमाने के सोने के सियाराम के सिक्कों की चोरी से. फिर कहानी कालेज में पहुंच जाती है,जहां बंधन(विवान शाह)और सविता (यशश्री मसुरकर) एक साथ पढ़ते हैं. बंधन पढ़ाई में तेज है,पर सविता उससे कुछ कमतर है. सविता के पिता वाघमारे (अतुल श्रीवास्तव) मोची हैं,जिनकी एक छोटी सी दुकान है. सविता आईएएस बनना चाहती है. बंधन उसकी मदद करने का वादा करता है. बंधन के पिता गजनी(शहजाद खान )का कबाड़ की छोटी सी दुकान है. गजनी अपने बेटे बंधन को कबाड़ के धंधे से दूर रखना चाहते हैं. मगर अचानक गजनी का देहांत हो जाता है और अब बीमार मॉं की देखभाल व घर के खर्च को चलाने के लिए बंधन अपने पिता के पुश्तैनी व्यापार कबाड़ की दुकान को संभाल लेता है. एक दिन उसे नदी से एक थैली मिलती है,जिसमें म्यूजियम से चुराए हुए सोने के सिक्के होते हैं,पर वह खुद उनकी कीमत से अनजान है. बंधन एक सिक्का वाघमारे को देते हुए कहता है कि इसे बेचकर कुछ रकम इकट्ठी कर लेना. इधर आईएएस की पढ़ाई करने के लिए सविता को दो लाख रूपए जमा करने हैं. मजबूरन वाघमारे वह सिक्का लेकर ज्वेलरी की दुकान पर जाता है. ज्वेलर उसे दो लाख रूपए में खरीद लेता है और डराता भी है कि वह इसके बारे में किसी से जिक्र नही करेगा. बंधन इन सिक्कों को पुलिस को देने जाता है,जहां इंस्पेक्टर बिंडोले(भगवान तिवारी )गुंडो की पिटाई कर रहे होते हैं,यह देखकर वह डर जाता है और घर लौट आता है. एक दिन बंधन की मुलाकात बड़ी इमारत में शानो शौकत से रहने वाली रोमा(जोया अफरोज) से होती है. रोमा अपने प्रेमी सैम (अभिषेक बजाज)के साथ रहती है. दोनो गोवा से भागकर आए हैं. और दोनों ही ड्ग्स का सेवन करते हैं. मगर बंधन का दिल रोमा पर आ जाता है और वह उसे एक सिक्का उपहार में दे देता है. इस सिक्के को जब रोमा बेचती है,तो उसे पच्चीस लाख रूपए मिलते हैं. उसके बाद सैम की सलाह पर रोमा,बंधन से सारे सिक्के हासिल करने के लिए प्यार का नाटक भी करती है. पर ऐसा करते हुए रोमा को बंधन से असली प्यार हो जाता है. इधर पुलिस इंस्पेक्टर बिंडोले म्यूजियम से सिक्के चुराने वालों की तलाश कर रहा है. तो वहीं दुबई से इब्राहिम बार बार बादशाह खान(इमरान हसमी) को धमकाता रहता है कि उसे सिक्के चाहिए. कहानी कई रंग बदलती है. सविता आईएएस अफसर बन जाती है. सैम की हत्या रोमा कर देती है. रोमा की गिरफ्तारी हो जाती है. बंधन व सविता की शादी हो जाती है.
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