धारावाहिक ‘एक बूंद इश्क’ से चर्चा में आने वाली अभिनेत्री छवि पांडे बिहार के पटना की है. कला के माहौल में पैदा हुई छवि को बचपन से क्रिएटिविटी के क्षेत्र में काम करने की इच्छा थी, जिसमें साथ दिया उसकी माँ गीता पांडे और पिता उमेश कुमार पांडे ने. उन्होंने हर तरह की आज़ादी बेटी को दी है, जिससे उसे आगे बढ़ने में आसानी हुई. छवि अभिनेत्री के अलावा कथक डांसर और सिंगर भी है. छवि आज एक सफल कलाकार है और इसका श्रेय मेहनत और लगन को देती है. दंगल टीवी पर उनकी नई धारावाहिक प्रेम बंधन शुरू हो चुकी है, जिसमें उन्होंने मुख्य भूमिका जानकी श्रीवास्तव की निभाई है. स्वभाव से हंसमुख और विनम्र छवि से बात हुई ,पेश है कुछ अंश.

सवाल-इस शो को करने की खास वजह क्या है?

ये एक बड़ी शो है, जिसे बालाजी टेलिफिल्म्स ने बनाई है और इसके निर्माता एकता कपूर है. इसके अलावा दंगल चैनल मेरे क्षेत्र में बहुत देखा जाता है. इस तरह की कॉम्बिनेशन ने ही मुझे इसे करने के लिए प्रेरित किया. इसमें मैंने जानकी की भूमिका निभाई है, जो मध्यम वर्गीय परिवार की है और वह परिवार की देखभाल मुश्किल परिस्थितियों में भी ख़ुशी से करती है. उसे ही दिखाने की कोशिश की गयी है.

सवाल-इस भूमिका से खुद को कितना जोड़ पाती है?

ये चरित्र मेरे जैसा ही है. मेरे परिवार में भी सिखाया गया है कि अगर कोई समस्या परिवार में आती है, तो बिना संकोच के उसे सही करने की दिशा में लग जाना चाहिए और मैंने ये सब देखा है. इसके अलावा आत्मसम्मान को बनाये रखना, जरूरतों के अनुसार ख़ुशी से काम करना आदि सबकुछ जो चरित्र में है, मुझसे बहुत मेल खाता है. 

सवाल-आप अपने माता-पिता के कितने करीब है?

मैं अपने पिता से अधिक नहीं, माँ के अधिक करीब हूं, क्योंकि मैं सबसे छोटी हूं, इसलिए माँ की दुलारी हूं. 

सवाल-पटना से मुंबई कैसे आना हुआ?

मैंने पहले गायन में अपना कैरियर शुरू किया था. मुझे सिंगर बनने का शौक था. इण्डियास  गोट टैलेंट में मैं अपने बहन के साथ गई थी, वहां जज सोनाली बेंद्रे ने कहा था कि आप अभिनय में ट्राई कर सकती है, क्योकि आपका चेहरा क्यूट है, पर मेरे लिए संगीत पहली प्रायोरिटी थी, एक्टिंग नहीं. मुझे संगीत में कुछ अच्छा करना था, लेकिन मैंने जब से अभिनय शुरू किया, सभी ने मेरे काम की सराहना की. 

सवाल-कितना संघर्ष था?

मुंबई आने में संघर्ष बहुत रहा है, क्योंकि मैं बहुत कंजरवेटिव परिवार से हूं, जहाँ लड़कियों को बाहर काम करने के लिए नहीं भेजा जाता है. मेरे मुम्बई आने के बाद मेरे माता-पिता ब्रॉड माइंडेड हो चुके है. मेरा मुंबई आना इंडस्ट्री में काम करने को लेकर पहले मेरे पिता एकदम राजी नहीं थे, पर माँ ने समझाया और वे मान गए और मेरी जर्नी शुरू हुई. इसके अलावा पिता ने मुझे एक साल का समय काम के लिए दिया था. इस दौरान अगर एक्टिंग का अवसर नहीं मिलता है, तो मुझे वापस पटना लौटना था. मुंबई में भी मुझे काम जल्दी मिला, लेकिन कुछ न कुछ समस्या होने की वजह से मैं काम नहीं कर पाई. मैं लकी थी कि 8 महीने बाद मुझे एक अच्छी शो मिल गई. 

सवाल-पहला ब्रेक कब मिला?

मुंबई आने के 8 महीने बाद मुझे पहला शो ‘एक बूंद इश्क’ मिला, जिसमें मैं मुख्य भूमिका में थी. उसके बाद एक के बाद एक कई शो मिलता गया. 

सवाल-आप एक कथक डांसर भी है, क्या अभिनय की वजह से उसके छूटने का कोई मलाल है?

मुझे कोई मलाल नहीं है, क्योंकि बचपन से ही मैने डांस और संगीत सीखा है. पटना में हमारा एक संगीत का स्कूल है, इसलिए घर में ही सीखने का मौका मिला. अभी मेरे लिए ये अच्छा हुआ है कि मैं एक्ट्रेस के अलावा सिंगर और डांसर भी हूं, ऐसे में कहीं कोई मौका मिलने पर मैं अवश्य उसे करना चाहूंगी. मैं बहुत फ्लेक्सिबल हूं और खाली समय में डांस और संगीत की प्रैक्टिस करती हूं. अभी मैं जहाँ हूं, खुश हूं. 

सवाल-आपके दिल के करीब कौन सी शो है?

मेरी पहली धारावाहिक एक बूंद इश्क और दूसरी सीरियल लेडीज स्पेशल 2, जिसमें लड़की बिहार की बताई गयी थी. उसे करने में बहुत अच्छा लगा था. 

सवाल-क्या फिल्मों या वेब सीरीज में आने की इच्छा है?

फिल्मों में काम करने की इच्छा हर कलाकार की होती है, मुझे अच्छी स्क्रिप्ट मिले, तो अवश्य करुँगी, लेकिन इस समय मैं टीवी धारावाहिकों में काम कर बहुत खुश हूं, क्योंकि टीवी ने मुझे नाम, शोहरत, ग्लैमर आदि सब कुछ दिया है. 

सवाल-कोरोना संक्रमण की वजह से काम के दौरान आप कितनी सावधानियां बरतती है?

मैं जहाँ भी जाती हूं, हर जगह मास्क, सेनीटाईजर, टेम्परेचर चेक करना आदि होता है. मैं भी खुद का बहुत ध्यान रखती हूं, क्योंकि काम तो करना है, बिना काम के जिंदगी नहीं चल सकती. 

सवाल-आप किसे अपना आदर्श मानती है?

मैं अपने आसपास के लोगों को देखकर किरदार निभाती हूं. किसी को आदर्श नहीं मानती. मैं सेल्फ ग्रोथ पर अधिक विश्वास करती हूं. 

सवाल-क्या कोई ड्रीम है?

मैं कंगना रनौत के जैसे वुमन ओरिएंटेड अलग-अलग तरीके की फिल्मों में काम करने की इच्छा रखती हूं.

सवाल-क्या बिहार में कुछ परिवर्तन करने की इच्छा रखती है?

बिहार में लोगों की सोच पर काम करना जरुरी है, क्योंकि वहां आज भी पेरेंट्स कंजरवेटिव स्वभाव के है. वे अपने बच्चों को किसी भी क्षेत्र में काम करने की आज़ादी नहीं देते. बच्चे की ड्रीम को उन्हें आगे बढाने की जरुरत है, ताकि बच्चा सफल हो सके. 

सवाल- क्या गृहशोभा के जरिये कोई सन्देश देना चाहती है?

मैं अपने क्षेत्र के बारें में कहना चाहती हूं कि वहां की महिलाएं शादी या रिलेशनशिप में रहने के बाद अपनी समस्या को किसी से कह नहीं पाती. मेट्रो के शहरों को छोड़कर आज भी बाकी क्षेत्र की महिलाएं अपने साथ हो रहे अत्याचार को कहने से डरती है और उसे सहती रहती है. महिलाओं को खुद को इतना काबिल बनाने की जरुरत है, जिससे कोई भी व्यक्ति  उसके साथ गलत व्यवहार न कर सकें.

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