खूब खाइए बादाम, ये हैं फायदे

बादाम सेहत के लिए बेहद लाभकारी होता है. दिमाग की सेहत के लिए बादाम काफी लाभकारी है. हालांकि कुछ लोगों का मानना है कि बादाम खाने से वजन बढ़ता है. इस कारण वो बादाम नहीं खाते. पर  कई जानकारों का कहना है कि बादाम से वजन नहीं बढ़ता, लोगों में ये धाराणा गलत है.

भारत में अधिकतर लोग बादाम भिगोकर रोजाना खाते हैं हालांकि कुछ लोग वजन बढ़ने की चिंता से बादाम से दूरी बनाकर रखते हैं. आम धारणा ये है कि बादाम में कैलोरी ज्यादा होती है और इसके सेवन से वजन बढ़ जाता है. विशेषज्ञों का दावा है कि नट्स से भरपूर ऊर्जा मिलती है और शरीर में कैलोरी भी एब्सौर्ब नहीं होती है. कई स्टडीज में पासोया गया है कि नट्स में मौजूद 20 फीसदी फैट और एक चौथाई कैलोरी शरीर में अवशोषित नहीं होती है.

इस बारे में शोध करने वाले शोधार्थियों के मुताबिक रिसर्च से पता चलता है कि कुछ चीजों पर लगे फूड लेबलों की जांच करना कितना जरूरी है. फूड पैकेट पर दिखने वाले फैट और कैलोरी की मात्रा शरीर में जाने पर कुछ और हो सकती है. नट्स इसका बेहतरीन उदाहरण है और अब हमें लंबे समय से कायम इस धारणा को तोड़ना होगा कि इनमें खूब कैलोरी होती है और इनसे वजन बढ़ता है.

बादाम बेहतरीन स्नैक्स है. पेट और दिल के लिए फायदेमंद है. इसमें अनसैचुरेटेड फैट की मात्रा ज्यादा होती है जिससे लोगों को पेट भरा-भरा महसूस होने लगता है और लोग कम खाते हैं. इससे ब्लड शुगर, इंसुलिन और कोलेस्ट्रॉल का लेवल भी कंट्रोल में रहता है.

इन बादामों में फाइबर, प्रोटीन, विटामिन्स और विटामिन-ई, पोटैशियम, फोलेट जैसे मिनरल्स प्रचूर मात्रा में होते हैं. दो अलग-अलग स्टडीज में भी यह बात साबित की गई थीं कि नट्स से वजन कंट्रोल हो सकता है और सेहत भी सुधरती है.

ब्लड प्रेशर का इलाज है टमाटर

टमाटर हमारी सेहत के लिए कई मायनों में फायदेमंद है. इसके कई सेहत लाभ हैं. हाइपर टेंशन एक गंभीर बीमारी है जिससे आपको दिल संबंधी समस्याएं होती हैं. अपनी डाइट में टमाटर जोड़ कर इस समस्या का जोखिम कम किया जा सकता है. इस खबर में हम आपको बताएंगे कि टमाटर कैसे ब्लड प्रेशर की परेशानी में फायदेमंद है.

अमेरिका के हार्ट जर्नल में प्रकाशित एक अध्ययन की माने तो टमाटर में भरपूर मात्रा में एंटी औक्सीडेंट पाया जाता है. जो लोग टमाटर का नियमित तौर पर सेवन करते हैं, उनमें ब्लड प्रेशर की शिकायत कम देखी गई है.

जानिए कैसे लाभकारी है टमाटर

tomato benefit in blood pressure

आपको बता दें कि टमाटर में लाइकोपीन और बीटा कैरोटीन जैसे कैरोटीनौइड होते हैं, जो शक्तिशाली एंटीऔक्सीडेंट्स हैं. इनकी मदद से शरीर में फ्री रेडिकल्स को निष्क्रिय हो कर आसानी से फ्लश हो जाते हैं. इससे न केवल एथेरोस्लेरोसिस की प्रगति धीमी होती है बल्कि औक्सीडेटिव स्ट्रेस भी कम होता है और ब्लड प्रेशर को कंट्रोल रखता है.

tomato benefit in blood pressure

टमाटर में विटामिन ई प्रचूर मात्रा में पाई जाती है. इसके अलावा टमाटर पोटैशियम का भी महत्वपूर्ण स्रोत है. इससे शरीर में फ्लूइड इलेक्ट्रोलाइट संतुलन को बनाए रखने में मदद मिलती है, साथ ही ब्लड प्रेशर भी कंट्रोल में रहता है. इसलिए अगर आप हाइपरटेंशन की मरीज हैं तो टमाटर का अधिक सेवन करें. आप इसे सलाद या सब्जियों में मिलाकर खा सकते हैं. इसके अलावा इसे टोमेटो सूप, रसम या चटनी के रूप में भी खाया जा सकता है.

पानी पी कर कम करें वजन

बढ़ा हुआ वजन लोगों के लिए किसी सिरदर्द से कम नहीं होता. वजन कम करने के लिए लोग तरह तरह के हथकंडे आजमाते हैं. लोगों को लगता है कि केवल एक्सर्साइज और डाइटिंग से उनका वजन कम हो सकता है. जबकि वजन का बढ़ना या कम होना आपकी डाइट पर निर्भर करता है. आप लाख एक्सर्साइज या डाइटिंग कर लें, अगर आपकी डाइट अच्छी नहीं है तो वजन संतुलित नहीं हो सकता.

इस खबर में हम आपको बताएंगे कि सही समय पर पानी पीना आपकी वजन की समस्या का इलाज कैसे हो सकता है. कई जानकारों का मानना है कि खाने से ठीक पहले पानी पीने से वजन केवल कम नहीं होता, बल्कि इससे आपका वजन मेनटेन भी रहता है. और खास बात ये कि खाने से पहले पानी पीने से आपके शरीर को कोई नुकसान नहीं होगा.

खाने से पहले पिएं एक ग्लास पानी

खाना खाने से पहले पानी लाभदायक है या बाद में, इसे ले कर सबकी अपनी समझ है. यूएस में हुए एक शोध में ये बात सामने आई है कि खाने से पहले 16 आउंस, यानि करीब एक ग्लास पानी आपको स्वस्थ रखेगा. जानकारों की माने तो खाना खाने से पहले पानी पीने से एनर्जी इनटेक कम रहता है, जिससे आपका वजन संतुलित रहता है. ज्यादातर लोग भूख को प्यास से जोड़ कर देखते हैं, इस कारण फूड इनटेक बढ़ जाता है, जिसके कारम वजम बढ़ता है. इस समस्या से बचने के लिए जरूरी है कि आप खाने से पहले करीब एक ग्लास पानी जरूर पिएं.

आपको बता दें कि आपकी सेहत पर पानी के तापमान का भी काफी असर होता है. कई लोग गर्मी के मौसम में ज्यादा ठंडा पानी पीते हैं, वहीं, ठंड में वो गर्म पानी पीते हैं, आपकी सेहत के लिए ये आदत खतरनाक है. इससे शरीर का काफी नुकसान होता है. स्वस्थ रहने के लिए जरूरी है कि आप गुनगुना पानी का सेवन करें. गुनगुना पानी शरीर में मौजूद तेल को तोड़ता है. पाचन क्रिया के लिए ये बेहद फायदेमंद है. इसके नियमित सेवन से फैट बर्न भी होता है.

ऐसे करें बालों का ट्रीटमेंट

महिलाओं में हेयरफौल की समस्या बेहद आम है. इसका ट्रीटमेंट कराने में काफी पैसा बर्बाद हो जाता है. इन आर्टिफीशियल तरीकों से बेहतर है कि आप प्राकृतिक उपायों की ओर बढ़ें. इस खबर में हम आपको कुछ आसान तरीकों के बारे में बताएंगे, जिससे आप अपनी इस समस्या का इलाज कर सकेंगी.

करें हौट आयल ट्रीटमेंट

जैतून, नारियल या कनोला जैसे प्राकृतिक तेल का इस्तेमाल करें. प्रयोग करने से पहले इसे थोड़ा गर्म कर लें. ध्यान रखें कि तेल ज्यादा गर्म ना हो. इसे बालों की जड़ों तक मसाज करें. एक बार लगा कर इसे घंटे, दो घंटे के लिए छोड़ दें. इसके बाद बालों को शैंपू से धो लें.

एंटीऔक्सिडेंट

एक कप गर्म पानी में ग्रीन टी के दो बैग डालकर उसका अर्क निकाल लें. इसके बाद पानी को बालों की जड़ों तक लगा लें. करीब एक घंटे तक ऐसे रहने दें. फिर धो लें. आपको बता दें कि ग्रीन टी में एंटीऔक्सिडेंट होते हैं, जिससे हेयरफौल की समस्या कम होती है. बालों को बढने में भी ये काफी ज्यादा सहायक होते हैं.

कराएं हेड मसाज

अक्सर हेड मसाज लिया करें. इससे सिर में खून का बहाव सही रहता है. रक्त का सही बहाव होने से बाल मजबूत होते हैं. प्राकृतिक तेल से मसाज लेना आपकी बालों के लिए काफी लाभकारी है. ये आपके तनाव में भी काफी लाभकारी है.

प्राकृतिक जूस

लहसुन, प्याज या अदरक के जूस से मालिश हेयरफौल में काफी लाभकारी है. रात में इसे लगाएं और सुबह में धो लें. इससे आपके बाल मजबूत होंगे.

 

प्रेग्नेंसी में रहना हो हेल्दी तो इस तेल का करें सेवन

किसी भी महिला के लिए मां बनने का एहसास बड़ा ही खास होता है. इस दौरान खानपान से लिए रहनसहन में उसे काफी सतर्क रहना होता है. जरूरी है कि इस दौरान खाने पीने का खासा ख्याल रखा जाए, क्योंकि इस वक्त मां के खानपान का सीधा असर बच्चे पर पड़ता है. इसी क्रम में हम आपके लिए मछली के तेल की खूबी बताएंगे.

प्रेग्नेंसी के दौरान गर्भवति महिलाओं को मछली के तेल का सेवन रोज करना चाहिए. डिलेवरी के कुछ दिनों पहले से मछली के तेल के सेवन से बच्चा स्वस्थ रहेगा, उसकी सेहत पर इसका अच्छा प्रभाव होगा.

लंदन के एक विश्वविद्यालय में हुए शोध की माने तो जो महिलाएं प्रेग्नेंसी के दौरान मछली के तेल का सेवन करती हैं उनके बच्चों को अंडे से एलर्जी होने की सम्भावना 30 प्रतिशत कम हो जाती है. असल में अंडे में ओमेगा-3 पाया जाता है. बच्चे के पाचन तंत्र पर इसका सकारात्मक प्रभाव पड़ता है.

गर्भावस्था में मां के खानपान का सीधा असर बच्चे की सेहत पर पड़ता है. कई देशों में बड़ी संख्या में बच्चों को अंडे और गेहूं जैसी चीजों से एलर्जी देखी गई है. ऐसे में प्रेग्नेंसी के दौरान मां का खान-पान पर ध्यान देना बच्चे की सेहत के लिए लाभदायक होता है.

बच्चों को खाने की जिन चीजों से एलर्जी होती है उसका सेवन करने पर उनके शरीर में दाने, सूजन या उल्टी जैसी समस्या हो जाती है. एलर्जी का कारण खाद्य पदार्थों का पेट में सही ढंग से पाचन ना पाना होता है.

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