रक्षाबंधन पर ड्रेस के साथ ज्वेलरी कैरी करें कुछ ऐसे

भाई-बहनों का त्यौहार रक्षाबंधन देशभर में बड़े धूमधाम से हर साल मनाया जाता है. इस त्यौहार पर बहने अपने भाई की कलाई पर राखी बांधकर उसकी लंबी उम्र की कामना करती हैं. ये त्यौहार भाई – बहन के बीच के रिश्ते को अधिक मजबूत और प्यारा बनाती है. जहां एक तरफ बेस्ट राखी खरीदने को लेकर बहनें पहले से ही मार्केट में खोजना शुरू कर देती हैं, वहीं अपने आउटफिट और लुक को लेकर भी बहुत कन्फ्यूज रहती हैं. इस बारें में महालक्ष्मी ज्वेलर्स के स्टाइलिश विवेक अग्रवाल कहते है कि इस बार इस त्यौहार को कुछ अलग और यादगार बनाने के लिए ऐसे स्टाइलिंग आइडियाज शेयर कर रहे हैं, जिससे उस दिन आपकी लुक होगी एकदम अलग और खूबसूरत.

वे आगे कहते है कि रक्षाबंधन पर ड्रेस और ज्वेलरी को लेकर कन्फ्यूज होने की जरुरत नहीं है, इन टिप्स को आप आसानी से फोलो कर सकती है.

  1. बनारसी साड़ी के साथ गोल्ड ज्वेलरी  

रक्षाबंधन पर मैरिड विमन्स अधिकतर साड़ी पहनना पसंद करती हैं, जिसके साथ ज्वेलरी पर खास ध्यान देना चाहिए, जो आपकी खूबसूरती में चार चांद लगा देती है. अगर आप अपने लिए बनारसी साड़ी चुन रही हैं, तो इसके साथ प्योर गोल्ड चोकर नेकलेस सबसे बढ़िया लगते हैं. कान में झुमकी और मांगटीका लुक को कम्पलीट कर देगा.

2. नेट की साड़ी के साथ डायमंड ज्वेलरी

रक्षाबंधन पर नेट की साड़ी पहनना एक बढ़िया ऑप्शन है. इस फैब्रिक की साड़ी के साथ आप डायमंड नेकलेस आराम से मैच कर सकती हैं. लाइट वेट हीरे के हार के साथ आप मैचिंग अमेरिकन डायमंड ईयररिंग्स, मांगटीका और ब्रेसलेट पेअर कर सकती हैं. इसका खास ध्यान रखें कि हर एक ज्वेलरी पीस का स्टाइल एक जैसा हो.

3. गोल्ड ज्वेलरी के ट्रेंडी डिजाइन्स भी करें ट्राई

आज के दौर की लड़कियों को अक्सर पीले रंग की गोल्ड जवेलरी पहनना आउट ऑफ फैशन लगता है. ऐसे में कुंदन डिजाइन वाले नेकलेस भी खरीद सकती हैं. इसे सिर्फ रक्षाबंधन पर ही नहीं, बल्कि दूसरे फेस्टिवल पर भी एथनिक आउटफिट के साथ आराम से मैच कर सकती हैं.

4. शॉर्ट कुर्ती और पैंट्स के साथ कलरफुल आर्टिफिशियल जवेलरी

गर्मी का मौसम है और ऐसे में अगर आप एकदम कम्फर्टेबल क्लोद्स कैरी करना चाहती हैं, तो शॉर्ट कुर्ती से बढ़िया ऑप्शन नहीं हो सकता. रक्षाबंधन पर पहनने के लिए हल्के फ्लोरल प्रिंट वाले कॉटन कुर्ते के साथ आर्टिफिशियल स्टोनवर्क ज्वेलरी कैरी किया जा सकता है. स्टोन्स वाले नेकलेस और ईयररिंग्स के कई बढ़िया कलर कॉम्बिनेशन मार्केट में भी मिल जाते हैं.

5. चिकनकारी सूट और पेंडेंट नेकलेस

अगर आपका बजट हेवी ज्वेलरी खरीदने का नहीं है, तो आप पेंडेंट नेकलेस भी ले सकती हैं. जिसके साथ आपको ज्यादातर लटकन ईयररिंग्स मिलते हैं, जिन्हें आप चिकनकारी सूट या इंडो-वेस्टर्न के साथ भी कैरी कर सकती हैं. मिड लेंथ के ये नेकलेस काफी सुंदर और अलग लुक देते हैं.

6. इंडो-वेस्टर्न के साथ ज्वेलरी

इस रक्षाबंधन पर अगर आप इंडो-वेस्टर्न आउटफिट पहन रही हैं, तो इसके साथ  लॉन्ग गोल्ड चेन नेकलेस कैरी कर सकती हैं. ये आपके लुक को परफेक्ट बना देगा. अगर आप लुक को थोड़ा हैवी रखना चाहती हैं, तो लेयर्ड सेट ले सकती हैं.

7. आउटफिट के अनुसार रखें सिंपल ज्वेलरी

गोल्ड ज्वेलरी हो या आर्टिफिशियल, इसे पहनते वक्त इस बात का जरूर ध्यान रखें कि आप जितना अपने लुक को सिंपल रखेंगी, उतना लोगों का ध्यान आपकी तरफ रहेगा. साड़ी, सूट या इंडो-वेस्टर्न कुछ भी हो, लेकिन त्यौहार पर हल्की ज्वेलरी ही आपके लुक को एन्हान्स करती है.

मनीषा रानी से लीजिए फैशन टिप्स, रक्षा बंधन पर ट्राय करें बिग बॉस गर्ल के ये लुक्स

बिग बॉस ओटीटी 2 से फेमस हुई बिहार की रानी उर्फ मनीषा रानी से आप सभी बखूबी वाकिफ हैं। अपनी कातिल अदाएं से मनीषा सबके छक्के छुड़ा लेती है। बिग बॉस ओटीटी 2 में मनीषा रानी का स्टाइल और ड्रेसिंग सेंस बेहद शानदार था। वह वीकेंड के वार पर अपने ड्रेसिंग स्टाइल से जलवा बिखेरती थी। रक्षाबंधन का त्योहार जल्द ही आने वाला है। आप भी स्टाइलिश आउटफिट देख रहे हैं तो मनीषा रानी से  लीजिए राखी फेस्टिवल के लिए ये फैशन टिप्स.

इन फैशन टिप्स से आप अपनी राखी लुक को परफेक्ट बना सकते हैं

  1. ग्रे सेक्विन साड़ी

बिग बॉस ओटीटी 2 की फेम मनीषा रानी अपने फैशन के लिए जानी जाती है. मनीषा रानी के इस साड़ी लुक को अपनाकर आप भी इस रक्षाबंधन काफी खूबसूरत और ग्लैमर दिख सकते है. ग्रे सेक्विन साड़ी लड़कियों के लिए राखी पर सबसे बेस्ट है. इस राखी आप भी ट्राई करें ये लुक.

 

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  1. पर्पल मिरर लहंगा

मनीषा रानी ने पर्पल मिरर लहंगा बिग बॉस ओटीटी 2 में भी पहना था. इस लहंगा में वह एकदम जबरदस्त लग रही थी. इस राखी पर मनीषा रानी का यह लुक आप भी ट्राई करें. सबकी निगाहें आप पर होगी .

 

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3. लाइट पिंक सेक्विन साड़ी

मनीषा रानी अपने स्टाइल और फैशन से सबका दिल जीत लेती है. अगर इस रक्षा बंधन पर आप भी सबका दिल जीतना चाहते है तो मनीषा का यह लुक जरूर ट्राई करें. लाइट पिंक सेक्विन साड़ी में आप बला की खूबसूरत लगेंगी.

 

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4. स्काई ब्लू लहंगा

भई यह तो मानना ही पड़ेगा मनीषा रानी अपने फैशन से जलवा बिखरती रहती है. बिग बॉस ओटीटी 2 में भी अपनी अंदाओं से सबका दिल जीती है मनीषा. इस रक्षाबंधन आप भी मनीषा का ये लुक ट्राई करें. इस लुक में आप काफी हॉट एड़ खूबसूरत देखेंगी.

 

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5. ब्लैक सेक्विन साड़ी

आज के समय में ब्लैक लवर काफी मिल जाएंगे. अगर आप भी ब्लैक लवर है तो मनीषा रानी का ये लुक आपके लिए बहुत ही परफेक्ट रहेगा. इस रक्षाबंधन मनीषा की ब्लैक सेक्विन साड़ी वाला लुक जरूर ट्राई करें.

 

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मैं सब से अधिक हैल्दी कुकिंग पर ध्यान देती हूं- शिप्रा खन्ना सैलिब्रिटी शैफ

शैफ शिप्रा खन्ना ने टीवी की दुनिया में ‘मास्टर शैफ सीजन 2’ से कदम रखा और आज विश्व में ग्लैमरस सैलिब्रिटी शैफ के नाम से जानी जाती हैं. इन्होंने कई रैसिपीज बुक लिखी हैं, कई टीवी शोज में ऐंकरिंग की है, अपना यूट्यूब चैनल चलाती हैं. शिप्रा खन्ना सिंगल मदर हैं और काम के साथसाथ अपने परिवार की भी देखभाल कर रही हैं.

उन्होंने केवल 9 साल की उम्र में किचन में कदम रखा और तब से ले कर आज तक तरहतरह की रैसिपीज से लोगों को अवगत कराया है.शिप्रा ने अपने काम के बल पर यह सिद्ध कर दिया है कि महिलाओं का केवल घर में खाना बनाना ही काम नहीं होता बल्कि वे पुरुषों की तरह बाहर भी सफल मास्टर शैफ बन सकती हैं. शिप्रा को कांस में 2023 में ‘वर्ल्ड इन्फ्लुएंसियल बिजनैस वूमन अवार्ड’ मिला.

यह ग्लोबली अवार्ड है, जिसे पा कर शिप्रा बहुत उत्साहित हैं.अवार्ड पर बात करते हुए शिप्रा कहती हैं कि अवार्ड किसी को भी आगे अच्छा करने की प्रेरणा देता है. मैं पहली इंडियन हूं, जिसे यह अवार्ड मिला है. ये एक बड़ी उपलब्धि है. विबा अवार्ड भारत में पहली बार किसी महिला को मिला है. इस के अलावा मैं डैजर्ट पर एक नई किताब लिख रही हूं. ‘सिंपली योर्स टू.’ इस में हर तरह की मिठाई की रैसिपी है. साथ ही टीवी पर भी एक शो आ रहा है.उस में मैं सब से अधिक ध्यान हैल्दी कुकिंग पर देती हूं.

अभी मैं सरकार के साथ, मिलेट्स पर रैसिपी बना रही हूं क्योंकि मिलेट्स वजन कम करने के साथसाथ पौष्टिक भी होती है. मैं किसी भी शो पर खाने के बारे में जागरूकता फैलाती हूं, जिस में सभी को में छोटीछोटी बातों पर ध्यान देने की सलाह देती हूं ताकि लाइफ की लौजिटिविटी बढ़े और व्यक्ति स्वस्थ रहे. प्लांट बेस्ड फूड का है ट्रैंड खाने में परिवर्तन के बारें में शिप्रा कहती है कि खाने में हमेशा नईनई चीजों का प्रयोग होता है.

हमारे देश के लोग अपने खानपान को भूलकर विदेशों की कौपी करते है, जबकि वहां के लोग यहां के भोजन को अधिक पसंद करते हैं. खाने की पसंद समय के साथ बदलती जाती है. अभी का ट्रैंड प्लांट बेस्ड फूड का है, जिस में दाल, चावल, आलू, सब्जी आदि को लोग पसंद करने लगे हैं.भोजन का ट्रैंड एक सर्कल की तरह है,जो बदलता रहता है खासकर पेंडेमिक के दौरान सभी ने अपनों को खोया है. ऐसे में लोगों ने अपने स्वास्थ्य पर अधिक ध्यान देना अब शुरू कर दिया है और यह जरूरी भी हो चुका है. आज ग्लोबल वार्मिंग भी एक बड़ी समस्या विश्व में हो रही है.

कहीं अधिक बारिश तो कहीं सूखा पड़ रहा है.सस्टेनेबिलिटी के बारे में बहुतों को आज पता तक भी नहीं है. ऐसे में मिलेट्स का प्रयोग अच्छा रहेगा क्योंकि इसे अधिक बारिश की जरूरत नहीं पड़ती और यह पौष्टिक होने के साथसाथ कई बीमारियों से बचाती है.मिली प्रेरणा खाना बनाने की प्रेरणा के बारे में शिप्रा का कहना है कि खाना बनाने की प्रेरणा मुझे दादी से मिली.

मेरे लिए दादी खाना बनाती थीं और स्कूल से आने पर बहुत प्यार से खिलाती थीं. तब मुझे समझ में अधिक नहीं आती था, लेकिन प्यार से खाना बना कर खिलाना मुझे बहुत अच्छा लगता था. मैं ने खाना बनाने की शुरुआत तब की जब मेरी बेटी को डाक्टर ने हैल्दी खाना कहने के लिए कहा ताकि उस का वजन न बढें.यहीं से मैं ने हैल्दी खाना बनाना शुरू किया था. पहली डिश मैं ने 9 साल की उम्र में सब्जियों की बनाई थी. उस समय परिवार वालों ने मुझे सहयोग नहीं दिया क्योंकि मैं छोटी थी.

मुझे किचन में काम करने से मेरे पिता मना करते थे,पर मुझे वह काम करना था. बड़े होने के बाद मैं ने कुकिंग शुरू की. धीरेधीरे सभी ने सहयोग दिया.सिंगल मदर होने के बावजूद मैं ने सामंजस्य के साथ पूरा काम किया. मेरे हिसाब से जहां कुछ करने की इच्छा होती है तो व्यक्ति कर लेता है. उसे सहयोग भी मिलता है और मेरे परिवार वालों ने मेरा साथ दिया.

मेरे बच्चों को मेरे हाथ का बना सबकुछ पसंद होता है. करती है तनावमुक्तशिप्रा आगे कहती हैं कि आज का यूथ खाना बनाने से कतराता है, लेकिन उसे समझना होगा कि पहले लोग बहुत समय लगा कर, सोच कर खाना बनाते थे, लेकिन अब स्मार्ट किचन को लोग फौलो करते हैं क्योंकि उन के पास समय का अभाव है. खाना बनाने के अलावा उन के पास समय बिताने के काफी विकल्प उपलब्ध हैं, जिन्हें वे ऐंजौय करते हैं.हैल्दी रैसिपी बनाने में समय नहीं लगता. फल, सलाद, बौयल्ड सब्जियां आदि बनाना आसान होता है. रैडीमेड फूड जितना कम अपने दैनिक जीवन में शामिल करें, उतना सेहत के लिए अच्छा होता है और यह किसी भी तनाव से मुक्त करता है.

इंस्टैंट रैसिपीशिप्रा कहती हैं कि मीठा खाने की इच्छा हो तो फ्रैश नारियल को कद्दूकस कर उस में थोड़ा गुड़ और इलाइची डाल कर मिश्रण को लड्डू की शेप में बना लें. इस के अलावा हैंड मेड ओट्स और पीनट्स बटर के साथ मिल कर लड्डू की शेप दें, जो खाने में स्वादिष्ठ होने के साथसाथ यह खाना पौष्टिक भी होगा. डेजर्ट की ये कुछ खास रेसिपी कोई भी बना सकता है.

मेरी रैसिपी ही मेरी डाइट खुद की डाइट के बारे में शिप्रा बताती हैं कि जो रेसिपी मैं लोगों तक पहुंचाती हूं, उसे खाती मैं भी हूं. मुझे याद आता है कि एक बार किसी शैफ ने मुझ से कहा था कि अगर मैं हट्टीकट्टी नहीं, तो अच्छी शैफ नहीं. तब मैं ने उन से कहा था कि वक्त बदल गया है. अगर आप फिट नहीं हो, तो अच्छे शैफ नहीं हो क्योंकि फिट होने का अर्थ यह है कि मैं अच्छा खाना बना रही हूं और उसे खा कर फिट भी रहती हूं. इस के अलावा सप्ताह में 5 दिन वर्कआउट, योगा आदि करती हूं. डाइट के साथ वर्कआउट करना जरूरी है. यूथ के लिए मैसेज है कि वह इधरउधर न भटके, दृढ़ता से किया गया काम हमेशा सफलता दिलाता है.

Grihshobha Cooking Queen: हैल्दी ईटिंग हैबिट्स को अपनाएं

तीज के उपलक्ष्य पर दिल्ली प्रैस  द्वारा गृहशोभा कुकिंग क्वीन प्रतियोगिता का आयोजन किया गया. जिसमें पंसारी ग्रुप ने सेहत आपकी वादा हमारा का स्लोगन देकर प्रतियोगिता में मौजूद महिलाओं को अपने घर परिवार के साथ खुद की भी हेल्थ का ध्यान रखने की सलाह दी.  इस इवेंट में सेहत, कुकिंग और वीमेनहुड पर सारा फोकस था.  कार्यक्रम दिल्ली के जनकपुरी के दिल्ली हाट में स्थित स्टारडम बैंकुएट हाल में 17 , अगस्त, 2023 को आयोजित किया गया. जिसमें बढ़चढ़ कर महिलाओं ने हिस्सा लिया.

कहते हैं न की अगर कार्यक्रम की शुरुआत मजेदार तरीके से हो, तो पूरे कार्यक्रम में जान आ जाती है.
और ऐसी ही जोश के साथ हुई इस मजेदार कार्यक्रम की शुरुआत. जिसका श्रेय एंकर अंकिता मंडाल
को जाता है. जिन्होंने वहां मौजूद महिलाओं में मजेदार एक्टिविटीज से कार्यक्रम की शुरुआत करके
उसमें जोश उत्पन्न करने का काम किया और ये जोश व उत्साह उनमें आखिर तक देखने को मिला.

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न्यूट्रिशन सैशन 

इसके बाद नूट्रिशनिस्ट निकिता अग्रवाल ने स्टेज पर आकर प्रोग्राम में और जान डालने का काम किया. उन्हें कहां कि ये सच है कि आज महिलाएं अपनों की हैल्थ का ध्यान रखतेरखते जानेअनजाने में खुद की हैल्थ को पूरी तरह से इग्नोर कर रही हैं.  जो उन्हें धीरेधीरे स्ट्रेस , एंग्जायटी , हार्मोन इम्बैलेंस , वेट गेन जैसी समस्याओं की गिरफ्त में ले जा रहा है.

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ऐसे में उनके लिए जरूरी है कि वे पूरे दिन में खुद के लिए कुछ मिनट निकालें, जिसमें वे नियमित एक्सरसाइज करें और खासकर के अपने खानपान का खास ध्यान रखें. अपने खानपान में सीड्स, फर्मेन्टेड फूड और जूस की जगह फ्रूट्स को शामिल करें. वहीं हैल्दी व वेट को मैनेज करने के लिए थोड़ीथोड़ी देर में  थोड़ाथोड़ा हैल्दी खाते रहें. जिससे एकसाथ ढेर सारा खाने की आदत छूटेगी यानि आपको पोरशन कंट्रोल करना आ सकेगा. जितना हो सके आप अपनी डाइट में मिलेट्स को शामिल करना न भूलें. ये हैल्दी हैबिट्स आपको बीमारियों से दूर रखने के साथ आपके वजन को भी तेजी से कम करने का काम करेगी, जो आज सबसे बड़ी समस्या बनी हुई है.

बीचबीच में कई गेम्स के सेशन हुए, जिसे वहां मौजूद महिलाओं ने खूब एंजोय किया और साथ ही उसमें अपने हुनर से प्राइस भी जीतें. जिससे उनका उत्साह और बढ़ गया.

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शेफ सैशन 

इसके बाद प्रोग्राम में और जान डाली मास्टर शेफ सीजन 2 की विनर शिप्रा खन्ना ने. जिन्होंने मिलेट्स पर तो जोर दिया ही, साथ ही महिलाओं को उनकी हैल्थ के लिए अवेयर करने के लिए ये समझाया कि हम सब छोटे नहीं बल्कि उम्र में बढ़ ही रहे हैं. इसलिए परिवार के हर सदस्य के साथ आपको भी अपनी हैल्थ का ध्यान रखने की जरूरत है. इस मौके पर उन्होंने ‘ राइस रोल्स’ बनाए. जिसमें उन्होंने लेफ्टओवर राइस का इस्तेमाल करते हुए उसमें हैल्दी चीजों का इस्तेमाल करके डिश को टेस्टी बनाने के साथसाथ हैल्दी बनाया. सेकंड रेसिपी ‘ जवार की मीठी मठरी’ बनाई. जिसमें तिल का इस्तेमाल भी किया गया. जिसे सभी ने खूब पसंद किया.

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कुकिंग क्वीन प्रतियोगिता

कार्यक्रम की मुख्य थीम ‘कुकिंग क्वीन’ प्रतियोगिता थी. जिसके लिए 20 मिनट्स स्वीट मेकिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, क्योंकि तीज के उपलक्ष्य पर कुछ मीठा तो बनता है . जिसमें वहां मौजूद 5 महिलाओं का चयन किया गया. जिसमें रविंदर गुप्ता, शशि श्रीवास्तव , अंजलि बंसल  , अनीता व गौरी बत्रा का नाम शामिल है. जिन्होंने कुकिंग रूल्स को फोलो करते हुए लाजवाब रेसिपीज बनाई. जिसमें ‘कुकिंग क्वीन’ बनीं शशि श्रीवास्तव.

जिन्होंने ‘सुजीबेसन हलवा ‘ इन हार्ट शेप में बनाया. वहीं फर्स्ट रनरअप गौरी बनीं , जिन्होंने ‘रागी पैनकेक’ बनाए. सेकंड रनरअप अंजलि बंसल बनीं , जिन्होंने  ‘कोकोनट लड्डू’ बनाया , जिसमें बनाना मिक्सचर का इस्तेमाल किया गया था.  इसी के साथ रविंदर को ‘ सूजी का हलवा’ बनाने के लिए व अनीता को ‘ मालपुए ‘ बनाने के लिए कंसोलेशन प्राइज दिया गया. इस प्रतियोगिता में महिलाओं ने दिखा गया कि महिलाओं का खाना बनाने में कोई जवाब नहीं.

विनर्स… 

इसके बाद रेसिपी विनर रहीं , कमलजीत कौर, जिन्होंने ओट्स केक बनाया. कंसोलेशन प्राइज मिला, मीनाक्षी, सुमन व मीनाक्षी अग्रवाल को. इसके बाद  ‘मोस्ट एनर्जेटिक वीमेन’ का खिताब मिला ,  रेखा को. ‘मोस्ट कॉंफिडेंट ‘ बनीं  दीक्षा.  वहीं ‘मोस्ट स्टाइलिश ‘ का खिताब मिला, श्वेता को. इस इवेंट में ‘मिस तीज’ बनीं वीना. जो एलिगेंट के साथ उनका कॉन्फिडेंस देखने लायक था. आखिर में सभी को गुडडी बैग्स दिए गए.

15 अगस्त स्पेशल: इस स्वतंत्रता दिवस आप दिखें कुछ खास

खास दिन पर खास दिखने के लिए आप मेकअप करती होंगी और पार्लर के चक्कर लगाती होंगी. फिर चाहे वह खास दिन कोई त्योहार हो या आपका जन्मदिन. और इन सब से भी ज्यादा खास है 15 अगस्त. कौन भारतीय यह दिन भूल सकता है जब हमें आजादी मिली थी. बेशक इस दिन आप और भी खास दिखना चाहेंगी.

खास दिखने के लिए आप कई तरह के मेकअप का प्रयोग करेंगी. लेकिन क्या आप जानती हैं कि मेकअप करते समय हमें कई सावधानियों को ध्यान में रखना पड़ता है. एक छोटी सी गलती आपके लुक को खराब कर सकती है.

तो इस स्वतंत्रता दिवस खास दिखने के लिए कुछ ऐसे करें मेकअप.

नैचुरल लुक के लिए लगाएं कंसीलर

चेहरे को फ्रेश और नैचुरल लुक देने के लिए कंसीलर का इस्‍तेमाल करें. इसके लिए कंसीलर के दो शेड का इस्तेमाल करें. लाइट कंसीलर को आंखों के पास लगाएं और डार्क कंसीलर को चेहरे के बाकी हिस्‍सों पर एप्‍लाई करें. इसके बाद बाकी के मेकअप को एप्‍लाई करें.

फेस और होठों के मेकअप का रखें ध्‍यान

अगर चेहरे की खूबसूरती को निखराना चाहती हैं तो हमेशा ध्‍यान रखें कि लिप्‍स पर डार्क लिपस्टिक लगाएं और चेहरे का मेकअप हल्‍का रखें.

आंखों का मेकअप

आपकी आंखें आपके चेहरे की पहचान होती हैं इसलिए इनका मेकअप करते समय खास ख्‍याल रखें. सबसे पहले लाइट कलर के फाउंडेशन से बेस तैयार कर लें. इसके बाद हल्‍के ग्रे कलर की आईलाइनर पेंसिल से ऊपर से नीचे की ओर लाइनर लगाएं. बाद में इसे उंगलियों की सहायता से स्‍मज कर दें. इससे स्‍मोकी लुक आता जाता है. इसके बाद मस्‍कारा लगाएं.

लिप्‍स को बनाएं ड्रामाटिक

अपने लिप्‍स को सुंदर और बोल्‍ड दिखाने के लिए सबसे पहले लिप्‍स पर कंसीलर लगाएं. उसके बाद जिस कलर की लिपस्टिक आप लगाने जा रही हैं उसी कलर के लिपलाइनर से होठों की आउटलाइनिंग करें. ऐसा करने से आपके लिप्‍स बहुत आकर्षक लगेंगे और आपकी लिपस्टिक लंबे समय तक टिकी रहेगी.

अगर आपके होंठ पतले हैं तो उनकी वास्‍तविक शेप से हटकर लाईनिंग करें और होठों को भरा हुआ दिखाने के लिप ग्‍लास का इस्‍तेमाल करें. इससे लिप्‍स बड़े और सुंदर लगते हैं.

बालों के लिए

थोड़ी सी फेस क्रीम लगाने से बालो में चमक आ जाएगी और बाल फटाफट सेट हो जाएंगे. ऐसा करने से रूखे बाल भी सही दिखने लगते हैं. आप चाहें तो रूखे बालों के लिए सीरम या फिर जेल लगाकर भी बालों को सेट कर सकती हैं. कोई नई हेयर स्‍टाइल बनाने से अच्‍छा है कि आप बालों को खुला ही रहने दें.

15 अगस्त स्पेशल: इन जगहों पर मनाएं आजादी का जश्न

इस स्वतंत्रता दिवस अपने परिवार और दोस्तों के साथ आप खास जगहों की यात्रा के लिए जा सकती हैं, जहां पहुंचकर आप देशभक्ति के रंग में सरोबर हो जाएंगी. तो जानिए कौन-कौन सी हैं वो जगह जहां आप स्वतंत्रता दिवस मना सकती हैं.

लाल किला

स्वतंत्रता दिवस का जश्न मनाने के लिए दिल्ली के लाल किले से अच्छी जगह और क्या होगी. सबसे पहले यहां सुबह-सुबह तिरंगा झंडा फहराया जाता है. शहीदों को सत्-सत् नमन कर अन्य रंग बिरंगे कार्यक्रमों का आयोजन होता है. स्कूल के छोटे-छोटे बच्चों द्वारा पेश किए जाने वाले देशभक्ति कार्यक्रम सबसे ज़्यादा दर्शकों का मान मोहते हैं.

इंडिया गेट

इंडिया गेट का नाम सुनते ही अलग से रूह में देशभक्ति की भावना उमड़ पड़ती है. यहां स्थित अमर जवान ज्योति, जो भारतीय सैनिकों का मंदिर है लोगों में देश प्रेम की भावना को और बढ़ा देती है. आपको कई देशभक्ति फिल्मों में इंडिया गेट के नजारे देखने को जरूर मिलेंगे. रंग दे बसंती का वो सीन तो आप सबको याद ही होगा जब सारे दोस्त इंडिया गेट से गुज़रते हुए इंडिया गेट को सलामी देते जाते हैं.

राज घाट

यमुना नदी के किनारे स्थित राज घाट, महात्मा गांधी के यादों का स्मारक है. इसके साथ ही जवाहर लाल नेहरू, लाल बहादुर शास्त्री के स्मारक भी विजय घाट के नाम से स्थित हैं. हर साल यहां आजादी के दिन इन महान व्यक्तियों को याद कर श्रद्धांजलि दी जाती है.

वाघा बार्डर

वाघा बार्डर, पाकिस्तान और भारत के बीच की इकलौती सड़क सीमा है, जहां हर साल 15 अगस्त के दिन लोगों का हुजूम उमड़ता है यहां के कार्यक्रमों में हिस्सा लेने के लिए. दोनो देश इसी सीमा पर एक दूसरे को आजादी की बधाई देते हैं. देशभक्ति गीतों पर लोग नाचते गाते मौज मानते हैं. इस दिन यहां लोगों का जोश देखने लायक होता है.

जलियांवाला बाग

जलियांवाला नरसंहार भारत का सबसे बड़ा और दुखद नरसंहार था, जिसे पूरा देश कभी नहीं भूल सकता. 13 अप्रेल 1919 बैसाखी वाले दिन ही अमृतसर शहर के जलियांवाला बाग में रोलेट एक्ट का विरोध करने के लिए एक सभा हो रही थी, जिसमें अंग्रेजी आफिसर जनरल डायर ने गोलियां चलवा दीं. इस क्रूर हत्याकांड के निशान अब भी वहां मौजूद हैं.

अल्फ्रेड पार्क

अल्फ्रेड पार्क जिसे कंपनी गार्डेन के नाम से भी जाना जाता है, वही जगह है जहां चंद्रशेखर आजाद  ने देश के लिए लड़ाई लड़ते हुए अपनी जान गंवाई थी. इसे चंद्र शेखर आजाद पार्क के नाम से भी जाना जाता है. इलाहाबाद का यह सबसे बड़ा पार्क है जहां चंद्रशेखर आजाद का स्मारक स्थापित है.

साबरमती आश्रम

गुजरात के अहमदाबाद शहर में साबरमती नदी के किनारे स्थित साबरमती आश्रम का भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन में एक महत्वपूर्ण भूमिका है. सत्याग्रह आंदोलन और दांडी मार्च की शुरुआत यहीं से हुई थी.

झांसी का किला

झांसी का किला जहां से झांसी की रानी हमारे देश की सबसे वीर महिला ने देश की आजादी के लिए लड़ाई आरंभ की थी. आज भी हर साल झांसी का महोत्सव इसे किले में ही मनाया जाता है.

बैरकपोर बाग

बैरकपोर बाग, पश्चिम बंगाल में स्थित बाग है जिसे मंगल पांडे बाग के नाम से भी जाना जाता है. इस बाग में अंग्रेजों का विरोध करने वाले कई भारतीय सैनिकों को सन् 1857 में फांसी के फंदे पर लटका दिया गया था.

नेताजी भवन

पश्चिम बंगाल के कोलकाता में स्थित नेताजी भवन, एक स्मारक सभागार और संग्रहालय है, जहां नेताजी सुभाष चंद्र बोस जी को उनके ही घर में बंदी बनाकर रखा गया था.

तिहाड़ जेल

तिहाड़ जेल अंडमान निकोबार के पोर्ट ब्लेर में स्थित अंग्रेजी शासकों का जेल है, जहां देश की आजादी के लिए लड़ने वाले देशभक्तों को कैदी बना कर रखा गया था. यहां उन्हें कई जटिल यातनाओं का सामना करना पड़ा था.

न्यूली कपल का टिपटौप घर

मुंबई की एकता सोसाइटी के फ्लैट नंबर-15बी में इशिता मेहरा और मंयक मेहरा 2 महीने पहले शिफ्ट हुए हैं. आज जब इशिता की सहेली नमिता मुखर्जी उस के घर आई तो वह घर का हाल देख कर हक्कीबक्की रह गई. वह सम?ा नहीं पा रही थी कि घर की हालत इतनी खराब कैसे है, जबकि इन के घर में तो अभी कोई छोटा बच्चा भी नहीं है. फिर भी घर का सारा सामान इधरउधर फैला है. जब नमिता किचन में गई तो वहां की हालत देख उस से रहा नहीं गया.

इशिता, तुम ने घर की यह क्या हालत बना रखी है? कोई भी सामान सही जगह नहीं रखा है. ऐसे बिखरे घर में तुम कैसे रह सकती हो?इशिता ने उत्तर दिया, ‘‘यार, मैं वर्किंग वूमन हूं. मैं काम करतेकरते थक जाती हूं. मुझे अपने लिए तो वक्त मिलता नहीं है घर की साफसफाई के लिए कैसे वक्त निकालूं. मंयक भी आते ही टीवी देखने लगते हैं. घर के कामों में बिलकुल हैल्प नहीं करते हैं.’’ नमिता ने उसे समझते हुए कहा, ‘‘ऐसे घर फैला हुआ अच्छा नहीं लगता है. अगर घर में कोई आएगा तो यही कहेगा कि तुम बहुत आलसी हो. रही बात वक्त न होने की तो वक्त होता नहीं है, निकालना पड़ता है.

अगर तुम कोशिश करो तो घर और औफिस दोनों मैनेज कर सकती हो. इस बारे में मंयक से भी बात करो. उसे सम?ाओ कि तुम भी वर्किंग हो. ऐसे में तुम्हें घर और औफिस दोनों एकसाथ संभालने में प्रौब्लम हो रही है. अत: वह भी घर के कामों में तुम्हारा हाथ बंटाए.  ‘‘इस के अलावा तुम दोनों चाहो तो कोई मेड लगवा सकते हो. इस के बाद भी तुम्हें और मयंक को कुछ बातों का ध्यान रखना होगा जैसे घर आते ही शूज और चाबियां सही जगह रखना.‘‘इशिता तुम तो जानती हो कि घर को मैनेज करना आसान नहीं है. एक वर्किंग वूमन जब औफिस से थक कर घर आती है तो वह भी चाहती है कि वह अपने पार्टनर के साथ कुछ रोमांटिक क्षण जीए. लेकिन फैले घर में ये सब पौसिबल नहीं है.

इस के लिए घर का व्यवस्थित होना बहुत जरूरी है. घर के सही से मैनेज न होने पर अकसर कपल्स में लड़ाई झगड़े होने लगते हैं. इस से उन की रिलेशनशिप में प्रौब्लम आ जाती है जो बिलकुल सही नहीं है. इसलिए कपल्स को मिल कर घर को मैनेज करना चाहिए ताकि लोग उन की मिसाल देते न थकें.’’

पर्सनल स्पेस जरूरी 

माना कि घर को हमेशा साफसुथरा और टिपटौप रखना कोई चुटकी बजाने का काम नहीं है. एक वर्किंग वूमन के लिए तो यह और भी मुश्किल है क्योंकि उसे 2 काम करनी पड़ती हैं. एक औफिस की और दूसरी घर की. फिर भी ऐसे कुछ तरीके हैं जिन के जरीए आप घर और औफिस दोनों को अच्छे से मैनेज कर सकती हैं. आइए, जानते हैं उन तरीकों को. अगर आप न्यूली मैरिड कपल हैं और आप अपना घर किराए पर लेने जा रहे हैं तो कोशिश करें कि कम से कम आप 2 बीएचके लें. इस के कई फायदे हैं. जैसे किसी गैस्ट के आप के घर में रुकने पर आप और आप के पार्टनर को अलगअलग नहीं सोना पड़ेगा. जब एक पार्टनर को पर्सनल स्पेस चाहिए होती है तो भी 2 बीएचके का फ्लैट फायदेमंद साबित होता है.

कभीकभी कपल्स में मनमुटाव या कहें लड़ाई झगड़ा हो जाता है. इस की वजह से वे अलगअलग सोने लगते हैं. एक रूम होने पर उन में से किसी एक को हौल में सोना पड़ता है. लेकिन 2 बीएचके का फ्लैट होने से उन की यह प्रौब्लम सौल्व हो जाएगी. वहीं अगर 1 बीएचके का फ्लैट होगा तो पार्टनर सोफे पर सोएगा. ऐसे में जब आप उसे मनाने के लिए जाएंगे तो सोफे पर इतनी स्पेस नहीं होगी कि आप अपने पार्टनर के साथ लेट सकें. लेकिन दूसरे रूम में यह पौसिबल है. साथ लेटने से हो सकता है कि आप का नाराज पार्टनर अपनी नाराजगी भूल जाए.

बैडरूम है खास  बात बैडरूम की करें तो इसे पूरी तरह से रोमांटिक बनाएं. वालपेपर का कलर ऐसा हो जो आप दोनों को पसंद हो. इस बात का ध्यान रखें कि यह रोमांटिक थीम बेस हो. बैडरूम विंडो पर कर्टन जरूर हो. यह कर्टन अट्रैक्टिव होना चाहिए. रूम वालपेपर के अनुसार ही कर्टन का कलर और डिजाइन रखें.  बैडरूम में 2 तरह की लाइटिंग करें. दिन के समय नौर्मल लाइट और रात के समय रैड कलर की छोटीछोटी लाइट्स हो सकती हैं.

इन लाइट्स में रोमांस करते हुए आप को और आप के पार्टनर को ज्यादा मजा आएगा. कपल के लिए इसे बैस्ट माना जाता है. इस बात का ध्यान रखें कि बैडरूम में एक कालीन भी हो. अगर आप न्यूली मैरिड कपल हैं तो आप अपनी इंगेजमैंट, शादी या रिसैप्शन की एक बड़ी तसवीर बैडरूम में बैड के पीछे लगा दें. इस के अलावा आप अपने बैडरूम को क्यूट और रोमांटिक मूमैंट से भरे फोटो कोलाज से सजा सकती हैं जो आप को आप की लाइफ के सुनहरे पलों की याद दिलाएंगे. बैडशीट में आप वहाइट, रैड, लाइट पिंक, लाइट यलो, क्रीम या औरेंज कलर को अपना सकती हैं.

बैडरूम में वार्डरोब एक कोने में रखें. यह बैड से थोड़ा दूर होना चाहिए. इस में बने अलगअलग खानों में कपड़ों को सैट करें. लौकर में अपनी ज्वैलरी और अन्य कीमती सामान रख सकती हैं. अगर वार्डरोब में अलग से फुटवियर रखने की जगह है तो उन्हें वहां रख सकती हैं.

काली पौलिथीन है फायदेमंद

घर और बाथरूम की डस्टबिन में काली पौलिथीन का ही यूज करें ताकि उस का कूड़ा दिखाई न दे. सफेद पौलिथीन में रखा कूड़ा दिखाई देता है जो बहुत बुरा लगता है. खासकर बाथरूम में. अगर बाथरूम की डस्टबिन में सफेद पौलिथीन का प्रयोग किया जाएगा तो उस में यूज किया सैनिटरी पैड, यूज किया कंडोम भी होगा जो न सिर्फ देखने में गंदा लगेगा बल्कि यह आप का इंप्रैशन भी खराब करेगा. इसलिए डस्टबिन में हमेशा काली पौलिथीन का ही प्रयोग करना चाहिए.

अगर बात की जाए डस्टबिन में पौलिथीन का यूज ही क्यों करना है तो इस का फायदा यह है कि पौलिथीन यूज करने का फायदा यह है कि सारा कूड़ा उसी में होगा. सफाई करते वक्त सफाई कर्मचारी बस पौलिथीन को निकाल कर ले जाएगा. इस से आप को डस्टबिन को बारबार धोना नहीं पड़ेगा.

न्यूली कपल और किचन

न्यूली कपल के लिए किचन न सिर्फ खाना बनाने की जगह है बल्कि यह रोमांस की भी बढि़या जगह है. इसलिए जब भी घर लें तो किचन का भी पूरा ध्यान रखें. किचन बड़ी और हवादार होनी चाहिए. इस के अलावा यह मौड्यूलर भी होनी चाहिए. कुछ फेमस मौड्यूलर किचन डिजाइन हैं. एल शेप मौड्यूलर किचन डिजाइन, यू शेप मौड्यूलर किचन डिजाइन, पैरालल डिजाइन, आइलैंड डिजाइन और ओपन डिजाइन.मैसी किचन किसी को नहीं भाती है.

मैसी किचन का मतलब आप का मन और पेट हमेशा मैसी रहना. इसलिए किचन यूज करने के बाद सभी डब्बे और अन्य सामान सही जगह रखें. गैस स्टोव क्लीन करें. सिंक में पड़े बरतनों को धो लें. उन्हें बाद के लिए टालें नहीं. कई बार छोटीछोटी चीजें आप और आप के पार्टनर के बीच दूरियां ला सकती हैं. मैसी किचन उन्हीं में से एक है.

जैसे कभी आप का पार्टनर कुछ नए और अलग अंदाज में आप से रोमांस करना चाहता है. लेकिन मैसी किचन देख कर उस का मूड खराब हो जाता है. इस तरह मैसी किचन आप की रिलेशन के लिए बिलकुल सही नहीं है.

इस बात का भी ध्यान रखें कि ऐसे मूमैंट्स आप अपने पार्टनर के साथ तभी एंजौय कर सकते हैं जब आप उन का हाथ बंटाएंगे. इस का फायदा यह भी है कि आप का काम भी निबट जाएगा और रोमांस भी हो जाएगा. अकेले रहने का एक लाभ यह भी है कि आप को मांओं की तरह ढेरों तरह के कंटेनरों में फालतू सामान नहीं रखना होगा.

डाइनिंगटेबल को रखें क्लीन  

डाइनिंगटेबल का चयन करते वक्त आप मौडर्न सर्किल डाइनिंगटेबल, ग्लास सर्कल डाइनिंगटेबल और मार्बल सर्कल डाइनिंगटेबल को चुन सकती हैं. ये सभी आजकल बहुत ट्रैंड में हैं. डाइनिंगटेबल को हमेशा क्लीन रखें. उस पर कवर बिछा कर रखें. उस पर पानी की एक बोतल जरूर हो. इस के अलावा उस पर 2 गिलास, चम्मच का सैट, आचार, टेबल साल्ट भी हो. आप उस पर कुछ फ्रैश फ्रूट या आर्टिफिशियल फ्रूट भी रख सकती हैं. इस के अलावा डिफरैंट टाइप की सौंफ और कैंडी रखें. लगना चाहिए कि आप न्यूक्लीयर फैमिली में रहने को ऐंजौय कर रहे हैं.

हौल को रखें टिपटौप

नए कपल का घर इस तरह डिजाइन और डैकोरेट हो कि यह उन के बीच रोमांस को बढ़ाने में हैल्प करे. हौल में लगे वौलपेपर लाइट कलर के हों. यहां थ्री डी वौलपेपर एक अच्छा औपशन हैं. जैसे ट्री वौलपेपर. इस के अलावा थी ड्री इल्यूजियम वौलपेपर भी आजकल बहुत ट्रैड में है.  सोफे पर हैंडलूम या रौयल कवर लगा सकते हैं. ये लोगों का ध्यान जल्दी आकर्षित करते हैं. इस के अलावा हौल को हैंडलूम डैकोरेटेड सामान से सजा सकते हैं. वहीं स्विच बोर्ड के आसपास आप स्विच बोर्ड स्टिकर लगा सकते हैं. आप अपने हाथों की छाप छोड़ने वाला कपल ‘होल्डिंग हैंड मोल्डिंग’ भी हौल में सजा सकते हैं. लोग आप और आप के घर की तारीफ करते नहीं थकेंगे और सब की चहेती बन जाएंगी.

लाइट्स को दें रोमांटिक टच 

न्यूली कपल की लाइफ में रोमांस बहुत महत्त्वपूर्ण होता है. आप के घर में सिर्फ आप और आप का पार्टनर रहता है. इसलिए आप के पास रोमांस की कई जगहें हैं जैसे लिविंगरूम, किचन, बैडरूम, बाथरूम.अगर आप लिविंगरूम में रोमांस करना चाहती हैं तो आप को वहां की डैकोरेशन से ले कर लाइटिंग तक का ख्याल रखना होगा. लिविंगरूम में सोफा, काउच, टीवी, बुक शैल्फ, टेबल होनी जरूरी है. सोफे के पास एक कालीन भी बिछा होना चाहिए. डैकोरेशन के लिए छोटेछोटे एंटीकपीस, फलास्क रखे जा सकते हैं. इस बात का खास ध्यान रखें कि इन सभी चीजों की समयसमय पर सफाई करते रहें. इस के लिए वैक्यूम क्लीनर का इस्तेमाल  किया जा सकता है.

अगर बात करें लाइट की तो काम करते समय नौर्मल लाइट रखें. वहीं रोमांस करते टाइम या मूवी देखते हुए रैड और ब्लू कलर की डिम लाइट का यूज किया जा सकता है. यह न सिर्फ आप के रोमांस को बेहतर बनाएगी बल्कि आप की चौइस की तारीफ भी चारों ओर होगी.

रूम फ्रैशनैस का करें यूज 

न्यूली कपल के घर में रूम फ्रैशनैस का इस्तेमाल ऐसे हैं जैसे दाल में तड़का लगा कर उस की खूबसूरती बढ़ाना. आप अपने घर में रूम फ्रैशनैस स्प्रे रखें. अगर आप एक वर्किंग वूमन हैं और आप के पास बारबार स्पे्र करने का समय नहीं है तो आप रूम फ्रैशनैस मशीन की हैल्प भी ले सकती हैं. मार्केट में ऐसी बहुत सी रूम फ्रैशनैस की मशीनें मिलती हैं जैसे गोदरेज, एअर विक्क, रूबरू, पार्क ऐवैन्यू, रोजमूर, मंगलम कैमप्योर, मीनीसो और ओडौनिल. इस में कई फ्लेवर आते हैं जैसे जैस्मीन, रोज, सनफ्लौवर, लैवेंडर. इस का फायदा यह है कि जब कभी भी आप या आप के गैस्ट घर में ऐंट्री करें तो उन का वैलकम भीनीभीनी खुशबू के साथ हो न कि उदासीनता के साथ.

सलीके से रखें चीजें एक घर की खूबसूरती सिर्फ उस घर की बनावट में नहीं है बल्कि उस घर की चीजों को सलीके से रखने में भी है. ऐसा कई बार होता है कि जल्दीजल्दी में बाहर जाने के लिए हम अपनी चीजों को इधरउधर रख कर या कहें छोड़ कर चले जाते हैं.

वापस आने पर इतने थके होते है कि चीजों को समेटने तक की भी हिम्मत नहीं होती है. हम थक कर सो जाते हैं. अत: जब भी बाहर जाएं तो अपने सारे सामान को सही जगह पर रख कर जाएं ताकि जब आप को वह सामान चाहिए हो आसानी से मिल जाए. आप को इस के लिए परेशान न होना पड़े.

कई लोगों की आदत होती है कि वे नहा कर गीला टौवेल बैड पर ही छोड़ देते हैं जो बुरी आदत है. ऐसी कुछ लड़कियां भी होती है जो बाल पोंछने के बाद टौवेल बैड पर ही छोड़ देती हैं. ऐसा करना गलत होता है. बालों को पोंछने के बाद टौवेल को सूखने डाल देना चाहिए और बाल सूखाने के लिए ड्रायर का प्रयोग करें. आप दोनों पार्टनर को अपनीअपनी चीजें इस्तेमाल करने के बाद उन्हें सही जगह रखना चाहिए.

जरूरी है शूरैक

न्यूली कपल के पास कपड़ों के कलैक्शन के हिसाब से शू और स्लीपर होते हैं. अगर बात की जाए लड़कियों के स्लीपर की तो इन की संख्या ज्यादा होती है. इन्हें रखने के लिए स्पेस भी ज्यादा चाहिए होती है.  मार्केट में डिफरैंट टाइप के शूरैक आते हैं. जैसे लकड़ी, प्लास्टिक और मैटल के शूरैक.अगर आप अपने घर को साफसुथरा और चमकदार बनाना चाहती हैं तो घर में ऐंटर होने से पहले घर के मेन गेट के बाहर डोरमैट जरूर रखें ताकि घर में आने वाले लोग  पहले अपने शूज में लगी गंदगी को वहां साफ कर सकें.

हैंड टौवेल की इंपौर्टैंस

कई बार तब तकलीफदेहज मूमैंट हो जाता है जब खाना खाने के बाद रौस्ट हाथ धोने के बाद उन्हें पोंछने के लिए इधरउधर हैंड टौवेल ढूंढ़ने लगते हैं. लेकिन वहां कहीं हैंड टौवेल नहीं होता. ऐसे में गैस्ट कुछ बोल नहीं पाते. वहीं इन्वाइट करने वाला कपल अपमानित फील करता है. इसलिए वाशरूम और बाथरूम के बाहर हैंड टौवेल जरूर रखें.  इस के अलावा वाशबेसिन के पास भी एक हैंड टौवेल जरूर रखें ताकि किचन का काम करने के बाद हाथ धोने के बाद पोंछ सकें. हैंड टौवेल साफ रहने चाहिए.

वाशरूम रहे क्लीन 

सोचो क्या हो जब गैस्ट ने आप के घर की साफसफाई और देखरेख की तारीफ की हो, लेकिन वाशरूम में जाते ही सिर को चकरा देने वाली बदबू से जब उन का सामना हुआ तो उन्हें लगा जैसे उन्होंने तारीफ कर के गलती कर दी हो. इस तरह की शर्मिंदगी से बचने के लिए वाशरूम क साफ किया जाना बहुत जरूरी है. यह नहीं भूला जाना चाहिए कि न्यूली कपल के लिए वाशरूम सिर्फ नहाने के लिए ही नहीं होता बल्कि यह रोमांस की भी एक जगह है. इसलिए यहां हाइजीन का खास खयाल रखना चाहिए. हाइजीन के लिए कपल अलगअलग टावल का यूज कर सकते हैं.

शावर न्यू स्टाइल के होने चाहिए. खुशबू के लिए रूम फै्रशनर या ओडोनील का इस्तेमाल किया जा सकता है. बाथ ऐक्सैसरीज भी होनी चाहिए. अगर आप का वाशरूम और बाथरूम एकसाथ हैं तो स्मैल होने के ज्यादा चांस होते हैं. इस स्मैल को खत्म करने के लिए टौयलेट फ्लश टैंक में टौयलेट बाउल क्लीनर डाल सकते हैं. वाशरूम में एक डस्टबिन भी होनी चाहिए जिस में काली पौलिथीन लगी हो.

जरूरी है मैट  

बड़ीबड़ी चीजों के चक्कर में हम हमेशा छोटी चीजों को भूल जाते हैं. मैट उन्हीं में से एक चीज है. कई बार हमारे स्लीपर और शूज में धूलमिट्टी लगी होती है. यह मिट्टी मैट न होने के कारण हमारे साथसाथ घर में आ जाती है. इसलिए घर के हर दरवाजे पर एक मैट होना बहुत जरूरी है ताकि पैरों में लगी गंदगी घर के अंदर न आए.न्यूली कपल अपनी रिलेशनशिप को ऐंजौय करना चाहते हैं, लेकिन फैला हुआ घर देख कर पार्टनर करीब आने की जगह दूरदूर भागने लगता है. पार्टनर को करीब लाने के लिए आप को थोड़ी ज्यादा मेहनत करनी पड़ेगी.

इस के लिए सब से पहले आप फैले घर को व्यवस्थित कर लें. उस के बाद अपने रिश्ते को.लेकिन इस बात का खास ध्यान रखें कि घर समेटतेसमेटते आप का रिलेशन बिखर न जाए. आप घर और औफिस दोनों को मैनेज कर सकती हैं. इस में अपने पार्टनर की हैल्प भी लें. कुछ चीजों को खरीदने में आप को लग सकता है कि आप का बजट गड़बड़ा रहा है पर बाद में जब सुकून मिलने लगेगा तो यह सही इनवैस्टमैंट ही लगेगी.

पुरानी साड़ियों को नया रूप देने के 7 टिप्स

साड़ी प्रत्येक भारतीय नारी के व्यक्तित्व में चार चांद लगा देती है इससे इंकार नहीं किया जा सकता. अवसर चाहे छोटा हो या बड़ा साड़ी में नारी सुंदर और आकर्षक तो  लगती ही है. हर महिला की कवर्ड में भांति भांति की साड़ियां होती ही हैं परन्तु समस्या तब आती है जब हम नई और आधुनिक फैशन की साडियां खरीद लाते हैं परन्तु कवर्ड में रखीं कुछ पुरानी साड़िया सालों साल तक यूज में नहीं आ पातीं या फिर एक दो बार पहनने के बाद ही आउट ऑफ़ फैशन हो जातीं हैं.

क्योंकि आजकल साड़ियों का फैशन बहुत जल्दी जल्दी चेंज होता है और ऐसे में पुरानी फैशन की साड़ियों को आप पहन भले ही लें पर इन्हें पहनने के बाद आप आउट डेटिड लगने लगतीं हैं दूसरे कम प्रयोग की जाने के कारण ये हमें नई सी ही लगतीं हैं इसलिए इन्हें किसी को देने का भी मन नहीं करता तो क्यों न इनका रियूज किया जाए. रियूज करने से अपनी पसंद की साड़ी को आप नया रूप तो दे ही पाएंगी साथ ही पैसे की बचत भी कर सकेंगी. आज हम आपको पुरानी साड़ियों को नया रूप देने के ऐसे ही कुछ टिप्स बता रहे हैं.

  1. लेसेज चेंज करें

कुछ समय पूर्व तक जहां साड़ियों में अच्छी खासी चमक वाले चौड़े बोर्डर वाली हैवी साड़ियों का फैशन था वहीं आजकल 1 इंच के पतले गोटा पत्ती के तिकोने बोर्डर वाली साड़ियां फैशन में हैं इसलिए अपनी वार्डरोब की चौड़े बोर्डर वाली साड़ियों के बोर्डर को निकलकर पतला सा  लेस या बोर्डर लगाकर मोडर्न लुक दें.

2. ब्लाउज अपडेट करें

आजकल लाईट साड़ी और हैवी ब्लाउज का फैशन है. अपनी वार्डरोब की साड़ियों के मैचिंग ब्लाउज के स्थान पर जेकोर्ड, चिकन वर्क, मिरर वर्क और हैवी इम्ब्रोइडरी वाले कंट्रास ब्लाउज केरी करें और अपनी साड़ी को दें नया सा लुक.

3. मैक्सी या गाउन बनवाएं

कई बार वार्डरोब में कुछ ऐसी साड़ियां होती हैं जो बिल्कुल ही आउटडेटिड होतीं हैं और जिन्हें आप अपनी कवर्ड से हटा भी नहीं पा रहीं हैं ऐसी साड़ियों से आप बहुत सुंदर सा गाउन बनवाएं. आजकल गाउन काफी फैशन में भी हैं. बस इस बात का ध्यान रखें कि कॉटन, ऑरगेंजा, और बहुत अधिक फूलने वाले फेब्रिक के स्थान पर फाल वाले फेब्रिक का गाउन बनवाएं.

4. सूट सिलवायें

आजकल प्लेन सूट के साथ हैवी दुपट्टे का फैशन ट्रेंड में है. बोर्डर वाली साड़ी का बोर्डर हटाकर आप इससे सूट बनवाएं और यदि पल्ला हैवी है तो मैचिंग कपड़ा लगाकर डिजाइनर दुपट्टा बनवाएं. ध्यान रखें कि प्लेन साड़ी का बॉटम और टॉप एक जैसा वहीँ प्रिंटेड साड़ी का टॉप और दुपट्टा बनवाएं इसके साथ प्लेन बॉटम केरी करें. आप चाहें तो इसके साथ रेडीमेड पेंट या लेगिंग्स का प्रयोग भी कर सकतीं हैं.

5. कुशन्स और दीवान सेट

साटन, सिल्क, बनारसी फेब्रिक वाली साड़ियों से आप बहुत सुंदर कुशन्स बनवा सकतीं हैं वहीँ इसके प्लेन वाले पोर्शन से दीवान सेट बना सकतीं हैं साड़ी यदि बोर्डर वाली है तो इसके बोर्डर को दीवान की चादर में लगायें.

6. लहंगा और स्कर्ट

लहंगा और स्कर्ट बनाने के लिए किसी भी फेब्रिक वाली साड़ी का प्रयोग किया जा सकता है. आजकल कली वाली, ओरेव और सादा चुन्नट वाली स्कर्ट बहुत चलन में हैं. साड़ी के पल्ले का प्रयोग ब्लाउज बनाने में किया जा सकता है. इसके साथ मैचिंग चुन्नी केरी करके आप किसी भी पार्टी में अपना जलवा बिखेर सकतीं हैं.

7. डायनिंग टेबल सेट

बनारसी, सेटिन और कढ़ाई वाली साड़ियों से आप बहुत सुंदर डायनिंग टेबल सेट भी बना सकतीं हैं इसके लिए आप पल्ले से रनर और शेष पोर्शन से डायनिंग टेबल की चेयर्स के सीट कवर बनवाइए.

महंगे पैट्स पालना महंगा

डौग शो को देखने पहुंचे तो वहां उपस्थित डौग जो अपने मालिकों के साथ आए थे, उन्हें देख चकित रह गई. एक से बढ़ कर एक स्टाइलिश ढंग से सजे, कीमती कपड़ों से लैस, परफ्यूम से महकते और जूते, कौलर, नैकटाई, रिंग जैसी ऐक्सैसरीज से सज्जित उन पेट्स को देखना किसी स्वप्नलोक से कम नहीं. उन के नेम टैग भी बहुत ही आकर्षक और वे इस तरह से अपने मालिक के साथ खड़े होते हैं मानो किसी फिल्म की शूटिंग में आए हों और अपनी बारी आने का इंतजार कर रहे हों.

पग, अमेरिकन पिट, लेबराडोर, बौक्सर, डेशुंड, अफगान हाउंड, कैरेवान हाउंड, आइरिश वुल्फ हाउंड, जरमन शेपर्ड, डाबरमैन जैसे महंगे पैट्स वहां मौजूद थे, जो शानदार गाडि़यों में बैठ कर आए थे. डौग शो में आ कर उन्हें सर्वप्रथम आने के लिए किसी तरह की ट्रिक नहीं दिखानी थी बल्कि उन का चयन उन के कोट साइज, आदत और पसंद के हिसाब से होना था.

तभी वहां से गुजरती एक महिला को कहते सुना, ‘‘कितने मजे हैं इन पैट्स के. आलीशान गाडि़यों में घूमते हैं, बड़ीबड़ी कोठियों में रहते हैं और हम से भी महंगा खाना खाते हैं. कितना कठिन है आज के जमाने में एक बच्चे को पालना और लोग पैट्स पालते हैं.’’

उस के कहने के अंदाज से झलक रहा था कि पैट्स पर इतना पैसा खर्चना की बात उसे अखर रहा था.

बन गए हैं स्टेटस सिंबल

जो अर्फोड कर सकता है, अकेलापन महसूस करता है वह पैट्स रख रहा है तो इस में बुरा क्या है? इस में जलने की बात क्या है? अगर अच्छी ब्रीड के महंगे पैट्स खरीदते हैं तो उन्हें पालने में एक बड़ी रकम जो क्व30-40 हजार महीना हो सकती है, खर्च करनी पड़ सकती है. अब जिस के पास इतना पैसा है तो वह खर्च भी करेगा क्योंकि आज के लाइफस्टाइल में अगर एक तरफ पैट्स सुरक्षा की दृष्टि से जरूरत है तो दूसरी ओर वे स्टेटस सिंबल भी हैं.

चीन में एक तिब्बती मस्टिफ 1 करोड़ पाउंड में बिका. यह बहुत ही आक्रामक गार्ड डौग है. जाहिर सी बात है कि जिस ने उसे खरीदा होगा वह कोई मामूली आदमी तो होगा नहीं बल्कि महंगे पैट पलाने की हैसियत रखता होगा. कोई भी पैट जितना कीमती होता है या बेहतरीन नस्ल का उसे पालने, उस के रखरखाव में 50 हजार रुपये तक खर्च हो सकते हैं.

क्या कहते हैं ऐक्सपर्ट

समाजशास्त्रियों का मानना है कि मर्सिडीज और सौलिटेयर्स को पीछे छोड़ते हुए पैट्स लेटैस्ट स्टेटस सिंबल बनते जा रहे हैं और उन के मालिकों को उन के लिए महंगे प्रोडक्ट्स और सर्विसेज लेने में कोई असुविधा महसूस नहीं होती है. यही वजह है कि इस समय भारत में यह बाजार 300 करोड़ रुपए तक पहुंच चुका है और उन के लिए ब्रैंडेड फूड से ले कर इस समय यहां पपकेक, बैड तो उपलब्ध हैं ही, साथ ही उन के बर्थडे की पार्टी किसी लग्जरी रिजोर्ट में करवाने का इंतजाम भी किया जाता है.

आजकल हर बाजार में जो नई दुकानें ज्यादा चमचमा रही हों, समझ लें कि वे पैट्स का सामान बना रही हैं जिन में फर्राटेदार अंगरेजी बोलने वाली औरतें बिना दाम पूछे पैकेट पर पैकेट खरीद रही होंगी.

कानन मल्होत्रा जो अपने पैट ल्हासा एप्सो के बिना एक पल भी नहीं रह सकती हैं कहती हैं, ‘‘मेरा पैट मेरी बेटी की तरह है और उस की आदतें बिलकुल मेरा जैसा हैं. मेरे पति ने 5 साल पहले उसे मुझे गिफ्ट में दिया था. वह घर से बाहर बिना जूता पहने नहीं निकलती है. मैं ग्रूमिंग के लिए महीने में 2 बार स्पा ले जाती हूं.’’

एक बड़ा बाजार

मेटिंग वैबसाइट से ले कर स्पैशल बेकरी व घर पर ही आ कर ग्रूमिंग सर्विस की सुविधाओं से ले कर पैट्स को साथ ले कर छुट्टियां बिताने के लिए ट्रैवल एजेंट्स के पैकेज सबकुछ मौजूद है. जैकोब और क्रिश्चियन आडीगियर जैसे इंटरनैशनल ब्रैंड उन के लिए कपड़ों से ले कर ज्वैलरी और फर्नीचर तक डिजाइन करते हैं. जगहजगह उन के लिए ऐसे फन रिजोर्ट बने हुए हैं जहां पैट्स के पेरैंट्स यानी मालिक के शहर से बाहर जाने पर उन्हें वहां छोड़ा जा सकता है.

आसान नहीं है पालना

टीवी पर दिखाए जाने वाले पैडीग्री फूड के विज्ञापन से यह तो साबित हो ही जाता है कि पैट्स भी एक शानदार जीवन जीने का अधिकार रखते हैं और उन के मालिक इस बात को ले कर कौंशस हो चुके हैं कि उन्हें अपने पैट्स को बढि़या से बढि़या चीजें व सुविधाएं उपलब्ध करानी चाहिए. पेडीग्री फूड का 500 ग्राम का पैकेट 100 रुपए का आता है और 1,000 रुपए तक उस की कीमत है.

इस के अतिरिक्त डौग च्यू जिन का आकार हड्डी, जूतों आदि जैसा होता है, वे भी मिलते हैं. वे भी 25 से 600 रुपए के बीच आते हैं. उन के लिए हेयर ब्रश, टूथब्रश, टूथपेस्ट, नेलकटर, शैंपू, हेयर टौनिक, परफ्यूम सब मिलते हैं.

महंगे पैट्स रखने के शौकीन लोगों के लिए उन्हें पालना भी महंगा ही साबित होगा, लेकिन यह भी सच है कि जो लोग उन्हें पालने की क्षमता रखते हैं, वही उन्हें खरीदते भी हैं. जिस तरह वे अपने बच्चों पर पैसा खर्चते हैं और उन्हें हर सुविधा देने के लिए तत्पर रहते हैं वैसे ही वे अपने पैट्स का भी ध्यान रखते हैं और उन के लिए बेहतरीन चीजें खरीदने में पीछे नहीं रहते हैं.

9 टिप्स: लौन दिखेगा ग्रीन

लौन भले ही छोटा हो, मगर हराभरा हो, कुछ ऐसा जो आंखों को ठंडक दे, पैर रखें तो मखमली घास में धंस जाएं. ऐसे लौन की चाहत के लिए इन जरूरी बातोंको ध्यान में रखना होगा:

  1. जमीन का चयन

बगिया में लौन किस ओर कहां, किस साइज का बनाया जाए इस के लिए सब से पहले अपने मकान के प्लौट का साइज देखें. यदि 500 गज के प्लौट पिछवाड़े लौन तैयारकर रहे हैं तो घास खराब न हो, इस पर आराम से चल सकें, इस के लिए लौन के चारों ओर पैदल चलने के लिए एक पटरी बनाएं. यह प्रावधान रखें कि गोलगोल पत्थर कुछ दूरी पर रख कर आकर्षक रास्ता बने. पत्थर चौकोर या मनपसंद आकार का हों, यह चारों ओर से खुला हो, पेड़ों से ढका न हों, वहां पानी न खड़ा रहता हो, पथरीला न हो.

2. भूमि की जांच

जब यह तय हो जाए कि लौन कहां बनवाना है, तो सब से पहले किसी सौइल एजेंट से अपनी भूमि की जांच करवा लें. दिल्ली पूसा इंस्टिट्यूट में सौइल टैस्ट लैब से किसी विशेषज्ञ से या किसी बढि़या नर्सरी से भूमि जांच की सेवाएं प्राप्त की जा सकती हैं. यह सौइल एजेंट विशेषज्ञ ही आप की भूमि के बारे पूरी जानकारी देगा कि भूमि की किस्म क्या है, रेतीली है, चिकनी है, भुरभुरी है.

इस में न्यूट्रीयनरस कितने हैं, पैलस क्या है, जिस से यह पता चलता है कि यह भूमि अटकलाइन है या नहीं. प्राय उत्तम किस्म के घास वाले लौन के लिए पिट लेवल 6 और 7 के बीच सही माना गया है. यदि जमीन में कुछ कमियां हैं तो भूमि जांच के बाद सौइल एजेंट बताएगा कि अब आगे क्या किया जाए.

3. लौन की खुराक

हरेभरे लौन के लिए खाद कब, कितनी, कौन सी और कैसे डाली जाए यह बात बेहद जरूरी है. अमेरिका में मिसीसिप स्टेट यूनिवर्सिटी के असिसटैंट प्रोफैसर लैंडस्कपिंग बौब ब्रजजैक के अनुसार सिंथैटक खाद के मुकाबले और्गनिक खाद जो कुदरती चीजों जैसे सीवीड या बोन मील अच्छे परिणाम देती है.

अच्छी घास के लिए जरूरी है कंपोजर मिली मिट्टी को खूब मिलाया जाए, इस तरह फावड़े से या ट्रैक्टर चलवाएं कि ऊपरी मिट्टी की परत कम से कम 6 हो. खाद डालने की यह प्रक्रिया साल में कम से कम 2 बार वसंत ऋतु और जब पत्ते झड़ते हैं दोहराई जाए. खाद डालने से इस में मौजूद न्यूट्रीएंट्स और नमी घास के लिए क्रशन का काम करती है. 3-4 बार मिट्टी को ऊपरनीचे करें, फिर समतल करें. कंकड़पत्थर निकालें, जंगली बूटी निकालें. अब इस में गोबर की खाद दे सकते हैं. खाद किसी अच्छे मान्यताप्राप्त स्टोर से ही लें. आजकल तरहतरह की रैडीमेड खाद पैकेटों में मिल रही है और औफ लाइन मंगवाई जा सकती है.

4. घास की किस्म

लौन में घास की किस्म बहुत महत्त्वपूर्र्ण है. जलवायु, स्थान, क्षेत्र और लौन के आकार को देखते हुए घास लगाएं. आजकल नर्सरी में कई प्रकार की घास की वैराइटीज उप्लब्ध हैं जैसे यदि नमी, छाया वाले स्थान पर घास लगानी है तो ऐक्सोनोपस एफिनस की किस्म लगा सकते हैं. अच्छा लौन बनता है, चुभती नहीं, नरम होती है तथा चलने से दबती नहीं. खराब होने का अंदेशा भी नहीं रहता.

गहरे रंग की चाहत हो तो सब की पसंदीदा घास से लौन चमक उठता है. यह बहुत सघन होती है. चलने पर नरम गड्डे सा एहसास दिलाती है.

5. जायसिस किस्म

यदि आप के पास समय काफी है, देखरेख का प्रावधान है, आप बागबानी के शौकीन हैं तो, साउथ ईस्ट एशिया में प्रचलित जायसिस किस्म लगा सकते हैं. इस के पत्ते नुकीले और रंग गहरा हरा होता है.

6. भारत में साइनोडोन

यह घास काफी लोगों की पहली पसंद है. वर्षा ऋतु घास लगाने के लिए सब से उत्तम मौसम माना गया है. घास घनी हो उठती है जिस पर चलने में आनंद आता है.

7. सिंचाई

अमेरिका के ‘अमेरिका सोसाइटी औफ लैंडस्केपिंग आसला’ के विशेषज्ञ जेनेट मेश्सता का मानना है कि यह जरूरी नहीं लौन को रोज पानी दिया जाए. मौसम तथा रोज के तापमान को ध्यान में रखते हुए लौन को धीरेधीरे इस प्रकार पानी दें कि घास की जड़ों को जमने में आसानी हो.

लौन के बीचोंबीच, किनारों में कुछ छोटेछोटे टीन के डब्बे या प्लास्टिक के  खाली डब्बे रख दें. आप स्पिंकल की विधि से 15-20 मिनट तक पानी दें और देखें क्या लौन में रखे डब्बों में 1/2-1 इंच पानी जमा हो गया है. यदि ऐसा है तो इतना पानी अच्छी हरीभरी घास के लिए सप्ताहभर के लिए काफी है.

8. कंटिंग व रोलर लगाना

घास जिस में जड़ लगी हो उसे तैयार भूमि में 1-2 इंच के अंतर से अच्छी तरह दाब कर लगाते जाएं. पासपास लगी घास घनत्व वाला सघन लौन देगी और जल्दी उग भी जाती है.

बाजार में तरहतरह के  लौन उपलब्ध हैं. विदेशों में हाथ से चलाने वाले, मोटर में बैठ कर चलाने वाली घास काटने की मशीनें प्राय आम लोगों के पास रहती हैं क्योंकि वहां घरों में कई एकड़ों में लौन रखने का रिवाज है. हमारे यहां माली घास काटने की मशीन से कटिंग करते हैं, पर इस बात का ध्यान रखें मशीन के ब्लेड तीखे हों ताकि घास ढंग से कटे, उलझे न या जड़ समेत बाहर न आ जाए.

इसलिए बारबार और बहुत छोटी घास काटना अच्छे लौन के हित में नहीं रहता. काटते समय ध्यान में रखें कि किस किस्म की घास लगी है. हर घास को काटने की अपनी अलग मांग रहती है.

9. जो है वह काफी है

यह जरूरी नहींकि आप के पूरे लौन में हरीभरी घास हो. शेड, छायादार और पेड़ के नीचे जहां पानी ठहरता हो वहां घास बराबर नहीं उगती. इसलिए ऐसे स्थानों पर उपयुक्त झड़ीनुमा पौधे लगा कर इस कमी को पूरा किया जा सकता है. इस से लौन हराभरा दिखेगा.

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