फटी एड़ियां ठीक करने का कोई घरेलू उपचार बताएं?

सवाल-

अकसर मेरी एडि़यां फट जाती हैं, इन्हें ठीक करने के लिए कोई घरेलू उपचार बताएं?

जवाब-

पैरों को रोज अच्छी तरह साफ करें. इस के लिए 1 बालटी में कुनकुना पानी ले कर उस में थोड़ा सा शैंपू और कुछ बूंदें हाइड्रोजन पैराक्साइड की मिला लें. इस पानी में पैरों को 10-15 मिनट तक डुबोए रखें. फिर स्क्रबर से एडि़यां और पैरों के बाकी भाग को रगड़ें. इस से डैड स्किन हट जाएगी.

दरारों के लिए जली मोमबत्ती के मोम को एक बरतन में ले कर उस में थोड़ा सा सरसों का तेल, ग्लिसरीन और शहद मिलाएं और फिर उसे हलका गाढ़ा होने तक गरम कर लें. इस मिक्स्चर को दिन में 2-3 बार एडि़यों में लगाएं. कुछ दिन ऐसा करने पर फटी एडि़यों की तकलीफ दूर हो जाएगी.

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हमारी खूबसूरती हमारें पैरों से भी होती है. ऐसे में पैरों का साफ सुथरा होना जरूरी है. पर कई बार फटी एड़ियों की वजह से यह न सिर्फ देखने में खराब लगती हैं बल्कि कई बार जब उनमें से खून निकलने लगता है तो यह काफी तकलीफदेह भी हो जाती हैं. ऐसे में नींबू आपकी इस समस्या को दूर करके आपको काफी राहत पहुंचा सकता है. आइए जानते हैं कैसे नींबू की मदद से आप अपनी एड़ियों को खूबसूरत बना सकती हैं.

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परमानैंट आईब्रोज बनाने के लिए क्या करना चाहिए?

सवाल-

मेरी उम्र 25 साल है. मैं परमानैंट आईब्रोज बनाना चाहती हूं. कृपया बताएं कि इस के लिए क्या करना होगा?

जवाब-

परमानैंट आईब्रोज बनाने के लिए मशीन द्वारा एक बार आईब्रोज को मनचाही शेप व कलर में बना दिया जाता है, जो पसीने या नहाने से खराब नहीं होती हैं. इस का असर 12 से 15 साल तक बना रहता है. इस प्रोसैस में किसी औपरेशन की जरूरत नहीं होती है.

जरमन कलर्स ऐंड नीडल्स के द्वारा परमानैंट मेकअप किया जाता है, जिस का कोई बुरा असर नहीं होता है. बस इस प्रोसैस के बाद हलकी सी रैडनैस नजर आती है, जो 15-20 मिनट में चली जाती है.

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हर लड़की चाहती है कि वह सुंदर दिखे. इसके लिए वह पार्लर जाती है. आमतौर पर देखा जाता है कि लड़कियां सुंदर दिखने के लिए अपनी आई ब्रो को लेकर बेहद क्रेजी रहती हैं. वह कम उम्र में ही थ्रेडिंग बनवाने लग जाती हैं.

चेहरे पर मेकअप के साथ-साथ सही आईब्रो का शेप आपके लुक को और भी खूबसूरत बना सकता है. इसलिए जरूरी है यह जानना कि आपके फेस पर किस तरह की आइब्रो अच्छी लगेगी. जानिए, आईब्रो के शेप और कलर से जुड़ी कुछ जरूरी बातें…

– किसी की दोनों आइब्रो पूरी तरह से एक बराबर नहीं होती है. इसलिए ध्यान रहे कि इन्हें एकसमान बनाना बहुत ज़रूरी है. छोटी-बड़ी आइब्रो आपकी सुंदरता बिगाड़ सकती हैं.

पूरी खबर पढने के लिए-आइब्रो शेप दे आपको खास लुक

मेरे नाखून बढ़ते नहीं और अगर बढ़ते हैं तो खुरदरे होकर जल्दी टूट जाते हैं?

सवाल

मैं 20 वर्षीय युवती हूं. मेरी समस्या यह है कि मेरे नाखून बढ़ते नहीं हैं और अगर काफी देखभाल के बाद थोड़ेबहुत बढ़ भी जाते हैं, तो खुरदरे हो कर जल्दी टूट जाते हैं. कृपया मुझे नाखूनों को लंबा व मजबूत करने का कोई उपाय बताएं?

जवाब

खानपान में कैल्सियम की कमी की वजह से नाखूनों के न बढ़ने की समस्या होती है. उन्हें लंबा और मजबूत बनाने के लिए माइल्ड शैंपू के घोल में नीबू कर रस मिलाएं और अपने हाथों को उस में 5-10 मिनट डुबोए रखें. इस के बाद हाथों को साफ पानी से धो कर कोल्ड क्रीम या मौइश्चराइजिंग क्रीम लगाएं. ऐसा हफ्ते में 2 बार करें. साथ ही डाइट में दूध, दूध से बने पदार्थ व ड्राईफ्रूट्स शामिल करें. यकीनन आप के नाखूनों की लंबाई भी बढ़ेगी और वे मजबूत भी होंगे.

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नाखूनों से जानिए सेहत का राज

गलत खान-पान और गलत जीवनशैली का प्रभाव हमारे शरीर पर हमेशा पड़ता है, जिसे हम नहीं जान पाते और जब तक इस बारें में पता चलता है, तब तक बहुत देर हो जाती है. हमारे नाखून भी ऐसे ही है, जो हमारे शरीर की आधी बीमारी को बताने में सफल होते है. असल में नाखून हमारे शरीर में किस चीज की कमी है या कौन सी बिमारी दस्तक दे रही है, उसकी कंडीशन क्या है आदि सभी बातें आसानी से बता देती है. इसके अलावा सालों साल आप क्या खा रहे है या किसे अधिक खा रहे है, इन सबका असर नाखूनों पर पड़ता है. नाखून की सतह पर सफेद दाग या धब्बे या नाखूनों का ‘ब्रिटल’ होना या नीला पड़ जाना, उसके आकार में परिवर्तन होना आदि शामिल है.

इस बारें में मुंबई की ‘द स्किन इन’ की डर्मेटोलोजिस्ट डा. सोमा सरकार बताती है कि नाखूनों की सहायता से मिनरल्स, विटामिन्स की कमी के अलावा मालन्युट्रिशन, थाइरोइड डिसआर्डर, एनीमिया, कार्डियाक डिसीज, लंग्स डिसआर्डर आदि बीमारियों का पता आसानी से लगाया जाता है. हेल्दी नाखून का रंग हमेशा हल्का गुलाबी होता है. हर दिन हेल्दी नाखून 0.003 मिलीमीटर से 0.01 मिलीमीटर तक बढ़ता है, लेकिन ये व्यक्ति की उम्र और स्वास्थ्य पर निर्भर करता है. कम उम्र में नाखून जल्दी बढ़ते है जबकि अधिक उम्र होने पर इसके बढ़ने की रफ्तार कम हो जाती है. ठंडी में नाखून जल्दी नहीं बढ़ पाते, जबकि गर्मी के मौसम में ये जल्दी बढ़ते है. यहां कुछ बातें निम्न है, जिसे जानना जरुरी है,

– अगर नाखून के आकार तोते की चोंच के तरह हो रहे है तो, व्यक्ति को कार्डिएक की बीमारी या लंग्स डिसआर्डर होने की संभावना होती है,

– नाखून की सतह पर सफेद स्पाट या लकीरे होने पर बायोटिन की कमी होती है, बायोटिन हमारे शरीर में उपस्थित बैड कोलेस्ट्रोल को घटाकर शरीर को उर्जा प्रदान करती है, इसके अलावा ऐसे नाखून लीवर सम्बन्धी बिमारी की ओर इशारा करते है, इसके लिए फ्रेश वेजिटेबल्स और सलाद का खाना लाभदायक होता है.

– कैल्शियम, प्रोटीन और विटामिन्स की कमी से नाखून ‘ब्रिटल’ हो जाते है, इसमें नाखून के ऊपर से पपड़ी निकलने लगते है, असल में ऐसे नाखूनों में ब्लड सर्कुलेशन कम होता है, ऐसे नाखून वाले व्यक्ति अधिकतर थाइरोइड या आयरन की कमी के भी शिकार होते है, जिसे समय रहते इलाज करना जरुरी है, एग, फिश, बादाम, आलमंड्स आदि का सेवन भी इसमें लाभदायक होता है.

– नीले रंग के नाखून वाले अधिकतर व्यक्ति श्वास की बिमारी, निमोनिया या दिल से सम्बंधित बिमारियों से पीड़ित होने की संभावना होती है.

– पीले नाखून वाले व्यक्ति अधिकतर पीलिया के शिकार होते है, इसके अलावा सिरोसिस और फंगल इन्फेक्शन जैसी बीमारियां उन्हें हो सकती है, धूम्रपान करने वाले व्यक्ति के नाखून भी पीले या बदरंग हो जाते है.

– आधे सफेद और आधे गुलाबी रंग के नाखून वाले व्यक्ति को किडनी से सम्बंधित बीमारियां हो सकती है, ऐसे नाखून खून की कमी को भी संकेत देती है.

– सफेद रंग के नाखून लीवर से सम्बंधित बिमारियों जैसे हेपेटाइटिस की खबर देते है.

– कई बार नाखूनों के आस-पास की त्वचा सूखने लगती है, इसे अनदेखा न करें, ये विटामिन सी, फोलिक एसिड या प्रोटीन की कमी से होती है, इसलिए अपने आहार में प्रोटीनयुक्त पदार्थ, पत्तेदार सब्जियां आदि लें.

इसके आगे डा. सोमा कहती है कि महिलाएं खासकर पानी में अधिक काम करती है. इसलिए उनमें नाखून की बिमारी अधिक देखी जाती है, ऐसे में उन्हें अपने नाखूनों की देखभाल अच्छी तरह से करनी चाहिए, जो निम्न है.

– काम करने के बाद हल्के गरम पानी से नाखूनों को साफ करने के बाद, नेल क्रीम या किसी भी कोल्ड क्रीम से अपने नाखूनों को मोयास्चराइज करें.

-एसीटोन युक्त नेल रिमूवर से नेलपॉलिश कभी साफ न करें.

– नाखूनों को समय-समय पर काटकर उसे नेल फाइलर द्वारा साफ करें.

– नेल पालिश लगाने से पहले नेल हार्डर लगाकर नेलपालिश लगायें, जिससे नाखून केमिकल से सुरक्षित रहे.

– नाखून की बाहरी त्वचा का खास ध्यान रखें, नेल क्यूटिकल्स ही नाखूनों को फंगल और बेक्टेरिया के इन्फेक्शन से बचाते है.

– खाने में प्रोटीन, विटामिन, मिनरल्स वाले पदार्थ अधिक लें.

नाखून, हेयर और स्किन हमारे अंदर की स्वस्थता को प्रतिबिंबित करते है, इसलिए उसमें आये किसी भी परिवर्तन को नजरंदाज नहीं करना चाहिए और समय रहते डाक्टर की सलाह ले लेनी चाहिए.

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