आम लोगों में जब विवाह टूटते हैं तो मामला मोहल्ले तक रह जाता है पर जब सिमरों के संबंध टूटते हैं तो पता चलता है कि पतिपत्नी संबंध किस तरह नाजुक और रेतीली जमीन पर होते हैं कि जरा सी गलतफहमी उन्हें अलग कर सकती है.
धर्म चोपड़ा और राजीव सेन की शादी के बाद. एक बेटी के जन्म के बाद हो रही अनबन, दोषादोषी साबित कर रही है कि अगर विवाह बाद जीवन को पटरी पर रखना है तो उसी तरह से इंजन की देखभाल करनी होती है जैसे रेलवे करती है. पटरी बिदा दी गई, 200-300 लोगों के सामने एकदूसरे को सुंदर डिजाइनर कपड़ों में घूम लिया काफी नहीं है.
‘क्यों दिल छोड़ आए’ धारावाही की नायिका का कहना है कि राजीव की फेशफुलनैस पर उसे शक है और वह कहता रहता है एक चांस दो, एक धोस दो और फिर कहीं मुंह मार आता है. राजीव का कहना है कि चारू की पहले बीकानेर में शादी हुई थी पर उस ने वह बात राजीव को नहीं बताई. पहली शादी की बात अपने पति से छिपाना किसी पति को मंजूर नहीं होता. शादी के बाद पतिपत्नी एकदूसरे पर अगाध विश्वास करते हैं और यही प्रेम की जौट होती है जो 2 सफल से लोगों को एक छत के नीचे रहने को तैयार रखती है.
जब से दोनों में अनबन हुई है, वकीलों के बीच में ले आया गया, दोनों को एकदूसरे के प्रति झूठसच फैलाना एकदम सुलह के सारे रास्ते बंद कर देना होता है. ऐसी हालत में तलाक तो होता ही है, बेटी को मां या बाप में से एक को खोना होता है. अब राजीव सेन को अपनी बेटी को देखने के लिए गिड़गिड़ाना पड़ता है.