पंजाब के मोहाली में स्थित चंडीगढ़ विश्वविद्यालय में एक छात्रा द्वारा अन्य लगभग साठ छात्राओं के  बाथरूम में नहाते हुए वीडियो बना कर  वायरल कर देना, कानून के लिए जहां आज एक प्रश्न चिन्ह बना हुआ है, वहीं समाज के लिए भी एक चिंता का सबब है.

ऐसे भयावह मामलों में आखिर क्या कदम उठाए जाएं.सबसे बड़ी बात आगे ऐसा ना हो, इसके लिए सरकार और समाज क्या कर सकता है.

मामला सामने आने के बाद

पूरे अपराध की जड़ छात्रा, उससे चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी कैंपस में पूछताछ का कथित वीडियो भी सामने आया है. रिपोर्ट्स के अनुसार, हॉस्‍टल वार्डन ने जब पूछा तो उसने कहा - एक लड़के को ये वीडियोज भेजे हैं. उसने दावा किया वह उस लड़के को नहीं जानती. वार्डन ने यह भी पूछा कि वह कब से वीडियो बना रही है तो उसका भी जवाब नहीं दिया. एक वीडियो में कथित रूप से छात्रा कह रही है कि 'गलती हो गई, आगे ऐसा नहीं करूंगी.'

दरअसल,आज जिस तरह मोबाइल का चलन बढ़ चुका है इसे हम एक हथियार कहे तो अतिशयोक्ति नहीं होगी. मोबाइल एक ऐसा हथियार बन चुका है जो दो तरफा वार करता है आपको, समाज को लाभान्वित कर सकता है तो आपको और समाज को गहरे संशय में भी डाल सकता है. ऐसे में इस हथियार को इस्तेमाल के लिए जहां समझदारी की आवश्यकता है वही अपने बचाव के लिए आज विशेष रूप से युवतियों को जागरूक होना आवश्यक हो गया है.

चंडीगढ़ विश्वविद्यालय की घटना आज विकराल रूप से पूरे देश को चिंतित कर रही है. और यह एक ऐसा मामला बनकर सामने आया है जो अपने आप में एक अलग ही तरह का चिंताजनक मामला है जो आज देश भर में चर्चा का विषय बना हुआ है. इसलिए आज  आवश्यकता है ऐसे मामलों पर सरकार और समाज ऐसे कदम उठाए जिससे आगामी समय में पुनरावृत्ति ना हो.

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