बचपन से गांव की कितनी सुंदर यादें बसी थीं छवि के मन में, लेकिन वहां जा कर सब धूमिल हो गईं. एक के बाद एक ऐसे कटु सत्य सामने आए जिन्हें स्वीकार करना मुश्किल था.