नीरा और किंजल फिर नीरा के ही फ्लैट पर आ गए, दोनों कुछ देर के लिए लेट गयी, किंजल ने नीरा को शांत करने के लिए कहा, “नीरा, अब तुम सब गौतम पर छोड़ दो, बहुत जल्दी ही इरा का पता चल जायेगा.”
नीरा की बेचैनी की कोई सीमा नहीं थी, उसने रोज की तरह अपने पापा से बात की, उन्होंने परेशान होते हुए कहा,” नीरा, इरा ने कई दिन से मुझसे बात नहीं की, कहां है वह?”
“पापा, पहले ऑफिस के काम में बहुत व्यस्त थी. अब ऑफिस की एक मीटिंग में जिस जगह गयी है वहां का नेटवर्क बहुत खराब है. आप बिलकुल चिंता मत करना, वह बिलकुल ठीक है. “ वह बहुत देर अपने पापा से बिलकुल नार्मल तरीके से बात करते हुए हंसती हंसाती रही. फ़ोन रखकर अचानक रोने लगी. किंजल ने फौरन उसे गले से लगाया चुप करवाया. वह सुबकते हुए कहने लगी,” किंजल, पापा से कब तक छुपाउंगी? और, पता चलते ही कहीं उनकी तबियत खराब न हो जाए. वे बहुत बीमार रहते हैं, उनके सिवा तो हमारा कोई और है भी नहीं.”
“डोंट वरी, नीरा. गौतम अब तक काम पर लग गया होगा. इस केस की रिपोर्ट तो तुमने अपने पापा की हेल्थ को ध्यान में रखते हुए नहीं की, अच्छा किया, अब गौतम अपने तरीके से सब पता कर लेगा.”
गौतम ने अपने ऑफिस जाकर इंस्पेक्टर कपिल और सुरेश को बुलाकर उन्हें केस के बारे में बताते हुए कहा, “ये रहे सबके फ़ोन नंबर. आनंद और वासु को यहाँ बुलवाओ. मुझे उनसे बात करनी है, फौरन, आज ही. और एक आदमी नीरा की निगरानी के लिए लगा दो, वह घर से कब निकली, कहां गई, किससे मिली, सब नजर रखवाओ.”